Azamgarh News: फर्जी रेप का मुकदमा दर्ज कर युवक को जेल भेजने के मामले में पुलिस अधीक्षक हेमराज मीना ने बिलरियागंज थाना अध्यक्ष विनय कुमार सिंह को निलंबित कर दिया है. फर्जी रेप के मामले की जांच पुलिस उपमहानिरीक्षक वैभव कृष्ण के निर्देश पर मऊ जिले को स्थानांतरण किया है.
दरअसल बिलरियागंज थाना निवासी एक महिला ने 21 अक्टूबर को पुलिस उपमहानिरीक्षक (डीआईजी) वैभव कृष्ण के कार्यालय में उपस्थित होकर बिलरियागंज थानाध्यक्ष विनय कुमार सिंह के खिलाफ शिकायत की थी. महिला का आरोप हैं कि उसके बड़े बेटे ने अपनी पत्नी को तलाक का नोटिस भेजा था. तलाक का नोटिस भेजने के कुछ ही दिन बाद बड़े बेटे की पत्नी ने अपने देवर पर फर्जी रेप का मुकदमा थाने में दर्ज कराया. यह मुकदमा पुलिसकर्मियों व थानाध्यक्ष की मिलीभगत से हुआ है.
घटना स्थल का निरीक्षण भी नहीं किया गया
इसकी शिकायत मिलने पर पुलिस उपमहानिरीक्षक वैभव कृष्ण ने पुलिस अधीक्षक को इस मामले की जांच एसपी ग्रामीण से कराने का निर्देश दिया गया. जहां जांच में पाया गया कि मामला संदिग्ध है. क्योंकि थानाध्यक्ष ने मुकदमा दर्ज करने के चार दिन बाद आरोपी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. इस मामले में नहीं किसी का बयान लिया गया ना ही फॉरेंसिक साक्ष्य ही जुटाए. इतना ही नहीं घटना स्थल का निरीक्षण भी नहीं किया गया.
तलाक का कोई भी जिक्र नहीं
मुकदमे में पति-पत्नी के तलाक का कोई भी जिक्र नहीं किया गया है. गिरफ्तारी भी साक्ष्यों के आधार पर नहीं की गई है. रिपोर्ट आने के बाद डीआईजी के निर्देश पर एसपी हेमराज मीना ने थानाध्यक्ष विनय कुमार सिंह को निलंबित कर दिया है. वहीं इस मुकदमे की जांच पुलिस उपमहानिरीक्षक ने मऊ जिले की पुलिस से कराने का निर्देश दिया है.
थानाध्यक्ष ने अधिकारियों को भ्रम में रखा
जांच में यह पाया गया कि थानाध्यक्ष विनय कुमार सिंह ने इस मामले को लेकर अधिकारियों को भी भ्रम में रखा. इस मामले में कोई भी सही जानकारी थानाध्यक्ष द्वारा अधिकारियों को नहीं तो समय पर दी गई और ना ही सही रूप से इस मामले को बताया गया. जिससे यह प्रतीत होता हैं कि थानाध्यक्ष दूसरे पक्ष से मिले हुए थे.
ये भी पढ़ें: UPPSC Protest का चौथा दिन आज, सड़कों पर बैठे हैं हजारों अभ्यर्थी, आंदोलन में पहुंच सकते हैं अखिलेश यादव