Bareilly News: सुन्नी बरेलवी मुसलमानों की सबसे बड़ी दरगाह आला हजरत (Dargah E Aalahazrat Bareilly) से भी अब पॉपुलर फ्रेंट ऑफ इंडिया (PFI) संगठन को बैन (Ban) करने की मांग उठी है. ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी (Maulana Shahabuddin Rajvi Barelvi) ने कहा कि पीएफआई कट्टरपंथी विचारधारा वाला संगठन है. देश भर में राष्ट्रीय जांच एजेंसी की छापेमारी (NIA) से स्पष्ट हो गया है. विभिन्न राज्यों के सांप्रदायिक दंगों में पीएफआई का हाथ रहा है. मौलाना ने भारत सरकार से मांग की है कि ऐसे संगठनों पर जल्द से जल्द प्रतिबंध लगाया जाए ताकि देश की एकता और अखंडता कायम रह सके. उन्होंने कहा कि देश के साथ किसी को खिलवाड़ करने का मौका न दिया जाए.
'पीएफआई के खिलाफ एनआईए की छापेमारी का समर्थन'
मौलाना ने पीएफआई के खिलाफ हुई छापेमारी का समर्थन किया. साथ ही उन्होंने मुसलमानों से अपील की है कि ऐसे संगठनों से दूरी बनाकर रहें. आपको बता दें कि पीएफआई पर शिकंजा कसता हुआ नजर आ रहा है. गुरुवार को एनआईए और प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने कुल 11 राज्यों में पीएफआई के ठिकानों पर छामेमारी की. छापेमारी में 106 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.
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दरगाह आला हजरत से उठी संगठन को बैन करने की मांग
पीएफआई पर छापेमारी से पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA), गृह सचिव, डीजी एनआईए सहित अधिकारियों के साथ बैठक की थी. संगठन पर कई बार अशांति फैलाने और सांप्रदायिक तनाव को भड़काने के आरोप लगे हैं. कई घटनाओं के पीछे पीएफआई की भूमिका बताई जाती है. देश में लंबे समय से एक धड़ा पीएफआई पर बैन लगाने की मांग कर रहा है. देश विरोधी काम करने का आरोप लगाते हुए अखिल भारत हिंदू महासभा (All India Hindu Mahasabha) और अखिल भारतीय बार एसोसिएशन (All India Bar Association) भी संगठन को प्रतिबंधित करने की मांग कर चुका है.