Bareilly: हाथ-पैर जोड़ गिड़गिड़ाता रहा किसान लेकिन अफसर मांगता रहा रिश्वत, विजिलेंस टीम ने रंगे हाथ दबोचा
Bareilly News: किसान, सीओ रणधीर सिंह के आगे बहुत गिड़गिड़ाया, हाथ पैर जोड़ें, काफी विनती की, कहा कि मैं गरीब आदमी हूं इतना रुपया नहीं दे पाऊंगा. इसपर रणधीर ने कहा कि 50 हजार तो देने ही होंगे.
Uttar Pradesh News: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) भ्रष्टाचार (Corruption) पर जीरो टालरेंस की बात करते हैं, लेकिन उनके अफसर सरकार की किरकिरी कराने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं. एक तरफ किसान परेशान हैं और उसकी फसलें बेमौसम बरसात और ओलावृष्टि से बर्बाद हो चुकी हैं, लेकिन दूसरी ओर अफसर उनसे भी रिश्वत लेने से बाज नहीं आ रहे हैं. ताजा मामला बरेली (Bareilly) के चकबंदी ऑफिस का है, जहां चकबंदी विभाग के सीओ रणधीर सिंह को ₹50,000 रिश्वत लेते विजिलेंस की टीम (Vigilance Team) ने रंगे हाथों गिरफ्तार किया है. पीड़ित किसान कई महीने से चकबंदी ऑफिस के चक्कर लगा रहा था, जिसके बाद किसान ने विजिलेंस से शिकायत की थी.
पीड़ित रोशनलाल बरेली के फरीदपुर तहसील के भुता थाना क्षेत्र के गजनेरा गांव के निवासी हैं. किसान रोशनलाल का आरोप है कि उसके गांव के तेजपाल ने चकबंदी न्यायालय में झूठा बाद दायर कर दिया था. वाद को खत्म करने के लिए चकबंदी के सीओ तृतीय रणधीर सिंह ने किसान रोशनलाल से दो लाख रुपए की रिश्वत मांगी. चकबंदी के सीओ तृतीय रणधीर सिंह ने किसान रोशनलाल से कहा कि दो लाख रुपए दोगे तो मुकदमा खारिज कर देंगे, नहीं तो तुम्हारी जमीन तेजपाल के नाम जोड़ दूंगा और तुम कुछ नहीं कर पाओगे. इसके बाद किसान रोशन लाल सीओ रणधीर सिंह के आगे बहुत गिड़गिड़ाए, हाथ पैर जोड़ें, काफी विनती की, कहा कि मैं गरीब आदमी हूं इतने रुपया नहीं दे पाऊंगा. इसपर रणधीर सिंह ने कहा कि तुम्हें 50 हजार रूपए तो देने ही होंगे.
रंगे हाथों गिरफ्तार
किसान रोशनलाल ने कहा की इस विभाग में बिना रिश्वत के कोई काम नहीं होता है, जिसके बाद रोशनलाल ने इस भ्रष्ट अधिकारी को बेनकाब करने की ठान ली और विजिलेंस में शिकायत की. विजिलेंस की टीम ने सीओ रणधीर सिंह को 50 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया. सीओ रणधीर सिंह के खिलाफ धारा 7, भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 यथा संशोधित 2018 के अंतर्गत सतर्कता अधिष्ठान बरेली में अभियोग पंजीकृत किया गया है. आरोपी को कोर्ट में पेश कर जेल भेजा जाएगा.
क्या कहा किसान ने
पीड़ित किसान रोशनलाल ने मीडिया से बातचीत करते हुए बताया कि हमारे पिताजी साल 2015 में एक्सपायर हो गए थे, हम दो भाई हैं और माताजी हैं, मेरे पिताजी की मौत के बाद तीनों लोगों में बराबर बराबर जमीन आ गई. जब 2016 में हमारे गांव में चकबंदी आई तो कागज यहां आ गए, हम तीनों लोग मिल जुलकर करते रहे, अभी जनवरी में पीलीभीत के एक व्यक्ति ने कागज बनाकर कहा कि वो हमारे पिताजी की संतान है. हमने बताया भी कि ये सरासर फर्जी है, इसमें कुछ नहीं है तो हमें क्यो परेशान किया जा रहा है इसे खारिज किया जाए, जिसके बाद हमने सीओ रणधीर सिंह से कहा तो मुझे जनता होटल में लेकर गए, फिर ने कहा कि आपकी कितनी जमीन है, हमनें बताया कि हम तीनों लोगों के पास लगभग 40 बीघा जमीन है, वे बोले कि इसमें दो लाख रुपए लगेंगे, तो हमने उनसे बिनती की कि हम दो लाख रुपए कहां से लाएंगे.
भावुक हो गया किसान
इस दौरान भावुक होते हुए पीड़ित ने कहा कि हमारे पास इतने पैसे भी नहीं हैं कि हम अपनी मोटर साइकिल का काम करवा सकें, हमने कहा कि हम दो लाख नहीं दे पाएंगे, तो उन्होंने कहा कि चकबंदी में ऐसा होता है, हम तेजपाल नाम के व्यक्ति के नाम तुम्हारी 10 बीघा जमीन जोड़ देंगे तो क्या करोगे, मैंने बहुत बिनती की तो वे 50 हजार रुपए पर मान गए, फिर मैंने उनसे कुछ दिन का समय मांगा, जिसके बाद मैंने बरेली विजिलेंस टीम से संपर्क किया, जब हमनें कल इनको फोन किया कि पैसों का इंतजाम हो गया है तो मुझे सुबह आने को कहा गया. हम न्यायालय में आए और उन्हें पैसे दिए. वहां टीम लगी हुई थी और उन्होंने पकड़ लिया.
Watch: सहारनपुर में BJP विधायक राजीव गुंबर बोले- 'अतीक-अशरफ को ऊपर पहुंचाया, अब शहर के...'