UP News: बस्ती (Basti) जिले में भानुपर (Bhanpur) तहसील क्षेत्र के ग्राम पंचायत अजगैवा जंगल (Ajgaiba Jangal) में करीब 14 सौ बीघा जमीन का गलत तरीके से पट्टा कराने का मामला सामने आया है. प्रधान ने ग्रामीणों के सा‌थ बैठक कर पट्टाधारकों के खिलाफ प्रस्ताव पारित कर प्रशासन से कार्रवाई की मांग किया. हालांकि तहसील प्रशासन मामले को दबाने पर तुला है. प्रधान सहित ग्रामीणों ने कार्रवाई न होने पर आंदोलन की चेतावनी दिया है.


कब हुई थी जांच?
इस पूरे मामले में अभिलेखों में छेड़-छाड़कर कर 1978 से 1996 तक ग्राम पंचायत की 14 सौ बीघा सरकारी जमीन का तमाम लोगों ने पट्टा करा लिया. मामले की जांच 2008 में तत्कालीन डीएम रोशन जैकब ने कराया था. जांच में पट्टा फर्जी पाया गया था. तब डीएम ने तहसील अधिकारियों को पट्टा निरस्त करने और अखिलेख से पट्टाधारकों के नाम हटाने का निर्देश भी दिया था. लेकिन तहसील प्रशासन की ओर से मामले में कोई कार्रवाई नहीं की गई.


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दबंगों का प्रभाव
जिन लोगों को पट्टा किया गया है, वह दबंग और प्रभावशाली लोग हैं. उनके दबाव में आकर तहसील प्रशासन मामले को दोबारा दबाने में जुटा है. प्रधान प्रतिनिधि चंद्र शेकर चौधरी ने कहा कि ग्राम पंचायत में अवैध पट्टों के चलते सरकारी जमीनों पर कब्जा हो गया है. ऐसे में आंगनबाड़ी, अस्पताल आदि सरकारी संस्थान की स्थापना नहीं हो पा रही है. जब तक पट्टा खारिज नहीं होता, तब तक भवनों का निर्माण नहीं होगा.


वहीं डीएम सौम्या अग्रवाल ने कहा कि अजगैवा जंगल में सरकारी जमीन पर गलत तरीके से पट्टे का मामला संज्ञान में आया है. इसकी जांच कराई जा रही है. अपात्रों का पट्टा निरस्तकर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी.


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