UP News: बस्ती में थानेदार की विदाई पर अलग नजारा देखने को मिला. जनता की आंखों में आंसूओं का सैलाब आ गया. दुर्गेश पांडे के ट्रांसफर का आदेश आने पर लोग बड़ी संख्या में थाना परिसर पहुंच गए. बड़े-बूढ़े सभी लोग थानेदार के कंधों पर सिर रखकर रोने लगे. विदाई समारोह में लोगों का प्यार देखकर दुर्गेश पांडे भी भावुक हुए बिना नहीं रह सके. उन्होंने लोगों को सांत्वना देकर चुक कराया और कहा कि ट्रांसफर-पोस्टिंग प्रक्रिया का हिस्सा है. जनता का थानेदार के प्रति मान-सम्मान का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.
छावनी थाने का मंजर बहुत दिनों तक रहेगा याद
स्थानीय लोगों ने थानेदार दुर्गेश पांडेय के व्यक्तित्व की सराहना की. मिलनसार थानेदार के पुराने दिनों का किस्सा पुलिसवालों की भी जुबान से निकला. दुर्गेश पांडेय छावनी थानेदार बनाकर बस्ती भेजे गए थे. उन्होंने बस्ती में पदभार ग्रहण करने के साथ सबसे पहले थाने की सूरत बदलने का बीड़ा उठाया. उन्होंने पुलिसकर्मियों के लिए दफ्तर से लेकर किचन तक में सारी सुविधा उपलब्ध कराई. थानेदार की व्यवस्था देखकर पुलिसकर्मी गदगद हो गए. अब किसी भी पुलिसकर्मी को खाने के लिए होटल या रेस्टोरेंट जाने की जरूरत नहीं थी. उन्होंने थाने के किचन की कायाकल्प पलट दी. किचन में रेस्टोरेंट जैसी सारी सुविधाएं उपलब्ध करवाने में बढ़चढ़कर दिलचस्पी दिखाई.
थानेदार के कंधे पर सिर रखकर खूब रोए लोग
जनता के प्रति भी दुर्गेश पांडेय ने ड्यूटी का बखूबी निर्वाह किया. आम और खास सभी के प्रति निष्पक्ष होकर काम किया. गरीबों की मदद करने में थानेदार दुर्गेश पांडेय हमेशा आगे रहे. सरल स्वभाव के धनी थानेदार से मिलने को हर कोई बेताब दिखाई दिया. विदाई समारोह में मुलाकातियों का तांता लग गया. रोते-बिलखते लोगों ने बस्ती से नहीं जाने की अपील की. थानेदार ट्रांसफर को प्रक्रिया का हिस्सा बताते रहे. नम आंखों से लोगों ने फूल माला पहनाकर थानेदार के प्रति सम्मान का इजहार किया. बस्ती छावनी थाने का मंजर बहुत दिनों तक याद रखा जाएगा.