मुजफ्फरनगर: संयुक्त किसान मोर्चा की महापंचायत में बिहार के किसान भी बढ़ चढ़कर हिस्सा ले रहे हैं. बिहार के पूर्व मंत्री अखलाक अहमद के नेतृत्व में हजारों की संख्या में किसान मुजफ्फरनगर पहुंचे हैं. उनका कहना है कि, आज इस महापंचायत में जो भी निर्णय लिया जाएगा, उस फैसले को वो बिहार में जन-जन तक पहुंचाएंगे.


बिहार के पूर्व मंत्री अखलाक अहमद ने एबीपी गंगा से खास बातचीत के दौरान कहा कि, पंचायत में बिहार ने भी बढ़चढ़ कर हिस्सा लिया है और जिस तरीके से इस महापंचायत में किसान मित्र हैं, उसको देखकर यह कहना गलत नहीं होगा कि अब किसान क्रांति आने वाली है. 


कृषि कानून से किसान दुखी


उन्होंने कहा कि, बिहार क्रांतिधारा है और चंपारण से कई क्रांतिकारी उद्घोष हुए हैं, लेकिन जिस तरह से कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग की शुरुआत बिहार से की जा रही है उसको लेकर बिहार के किसान बेहद दुःखी हैं. यही वजह है कि किसान इस महापंचायत में पहुंचकर अपनी व्यथा अपनी पीड़ा बयां कर रहा है.


बिहार के पूर्व मुक्त मंत्री अखलाक अहमद ने कहा कि, अगर कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग में किसानों ने अपनी जमीन दी तो 3 साल बाद किसानों की जमीन या तो बैंक ले लेगा या फिर उद्योगपति लेकिन जब एबीपी गंगा ने उनसे कहा कि, कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग में तो सिर्फ फसलों को लेकर कॉन्ट्रैक्ट होगा जमीन का नहीं तो फिर किसान की जमीन कैसे उद्योगपति ले लेगा. 


महापंचायत के फैसले को बिहार में जन जन तक पहुंचाएंगे 


लेकिन इस महापंचायत में आज अहम फैसले होंगे और जो भी फैसला लिया जाएगा उस फैसले को बिहार में जन जन तक पहुंचाने का काम वह करेंगे, क्योंकि किसानों के हित में यह पंचायत रखी गई है और किसान इस देश का अन्नदाता है, ऐसे में अन्नदाता को नाराज करना बिल्कुल गलत है.