Varanasi Lok Sabha Seat: उत्तर प्रदेश की वाराणसी सीट यूपी की सबसे वीवीआईपी सीट रही है. इस सीट से पिछले दो बार से लगातार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सांसद रहे हैं. पीएम मोदी तीसरी बार भी वाराणसी से ही चुनाव लड़ेंगे. बीजेपी इस सीट पर एक बार से पीएम मोदी की बड़ी जीत की तैयारी में जुटी हुई है. वहीं विपक्षी दल सपा और कांग्रेस के बीच गठबंधन में ये सीट कांग्रेस के हिस्से में आई है. हालांकि कांग्रेस ने अभी तक अपने उम्मीदवारों के नामों का एलान नहीं किया है लेकिन माना जा रहा है कि प्रदेश अध्यक्ष अजय राय को मैदान में उतारा जा सकता है.
वाराणसी लोकसभा सीट हमेशा से ही सुर्खियों में रही है. इस सीट पर बीजेपी का वर्चस्व रहा है. पीएम मोदी से पहले 2009 में बीजेपी से मुरली मनोहर जोशी सांसद बने थे. जिसके बाद 2014 में पीएम मोदी को इस सीट से प्रत्याशी बनाया गया. पीएम मोदी जब गुजरात से वाराणसी आए तो उन्होंने कहा था कि 'मुझे तो मां गंगा ने बुलाया है.'
वाराणसी सीट का समीकरण
वाराणसी सीट का सियासी समीकरण भी बेहद दिलचस्प है. इस सीट पर अब तक 17 बार लोकसभा चुनाव हो चुके हैं. और जिनमें से सात बार यहां कांग्रेस को जीत मिली और सात बार ही बीजेपी जीती है. ये सीट कुर्मी जाति बहुल है. जो किसी भी दल की जीत में अहम भूमिका निभाता रहा है. इसके साथ ही ब्राह्मण, भूमिहार, वैश्य और मुस्लिम मतदाताओं की निर्णायक भूमिका में रहते हैं.
किस पार्टी को कितने वोट मिले
वाराणसी सीट से बीजेपी के कई दिग्गज सांसद रह चुके हैं. लेकिन पीएम मोदी के एंट्री के बाद से यहां का चुनाव काफी दिलचस्प रहा है. साल 2014 में आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविंद केजरीवाल पीएम मोदी के खिलाफ चुनाव लड़े थे, और दूसरे नंबर पर रहे. कांग्रेस के अजय राय तीसरे और बसपा चौथे नंबर पर रही. पीएम मोदी को इस चुनाव में 32.89 फ़ीसदी वोट मिले. जबकि केजरीवाल को सिर्फ 11.85 फ़ीसद वोट मिले.
2019 के लोकसभा चुनाव में सपा और बसपा ने मिलकर बीजेपी के खिलाफ चुनाव लड़ा. इस चुनाव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पहले से भी कहीं ज़्यादा 6,74,664 वोट मिले और वोट फीसद 63.6% रहा. सपा की शालिनी यादव दूसरे नंबर पर रही उन्हें कुल 1,95,159 वोट मिले और वोट 18.4% रहा. तीसरे नंबर पर कांग्रेस के अजय राय रहे, उन्हें 14.38% वोट के साथ कुल 1,52,548 मत मिले.