BJP नहीं, सपा की वजह से फंसा मिल्कीपुर सीट पर उपचुनाव! जानें- क्यों लग रहा है आरोप
Milkipur Bypoll 2024: बीजेपी के पूर्व विधायक गोरखनाथ बाबा ने आरोप लगाया कि उन्होंने अपनी याचिका वापस लेने के लिए कोर्ट में अर्जी दी थी, जिसे रोकने के लिए सपा ने वकीलों की फौज खड़ी कर दी.
UP Bypoll 2024: यूपी की मिल्कीपुर विधानसभा सीट पर उपचुनाव फंस गया है जिसके बाद इस पर जमकर सियासत देखने को मिल रही है. जहां एक तरह समादवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने हार के डर से जंग टालने का आरोप लगाया तो वहीं अब बीजेपी ने इसे लेकर पलटवार किया है. मिल्कीपुर को लेकर हाईकोर्ट में याचिका दाखिल करने वाले पूर्व विधायक गोरखनाथ बाबा ने सपा की वजह से इस सीट पर चुनाव फंसा है.
गुरुवार को हाईकोर्ट ने बीजेपी नेता गोरखनाथ बाबा द्वारा मिल्कीपुर को लेकर डाली गई याचिका वापस लेने की अर्जी पर सुनवाई की. इस दौरान कोर्ट ने कहा कि इस मामले में याची द्वारा तय प्रक्रिया का पालन करने के बाद ही याचिका की वापसी पर विचार किया जाएगा. कोर्ट 15 दिन बाद इस मामले में सुनवाई करेगा, जिसके बाद मिल्कीपुर में उपचुनाव फंस गया है.
बीजेपी ने सपा पर लगाया आरोप
बीजेपी ने अब इसे लेकर समाजवादी पार्टी को घेरते हुए कहा कि सपा चुनाव से डर गई है. बीजेपी नेता गोरखनाथ बाबा ने कहा कि जब हमारी ओर से याचिका वापस लेने के लिए अर्ज़ी दी गई थी तो फिर सपा ने कोर्ट में क्यों वकीलों की फौज खड़ी कर दी. सपा की वजह से कोर्ट में नई तारीख लग गई नहीं तो इस याचिका का निस्तारण हो जाता. हमारे शीर्ष नेताओं ने तो मिल्कीपुर में चुनाव कराने के लिए चुनाव आयोग तक से बात की थी.
पूर्व विधायक गोरखनाथ बाबा ने कहा कि जब चुनाव आयोग ने उपचुनाव की तारीख़ों का ऐलान किया है तो पता चला कि मिल्कीपुर में उनके द्वारा दाखिल याचिका की वजह से चुनाव टाल दिए गए हैं. इसके बाद मैंने संगठन से बात की और रात में याचिका वापस लेने के लिए लखनऊ आ गया. हमने रातों रात कागज तैयार किए और बुधवार को ही याचिका को वापस लेने के लिए पत्र डाल दिया था. निवेदन करने के बाद गुरुवार को तारीख भी लग गई.
सपा की वजह से कोर्ट में टला मामला!
उन्होंने कहा कि कोर्ट में जैसे ही इस मामले पर सुनवाई का नंबर आया समाजवादी पार्टी और अवधेश प्रसाद के द्वारा दर्जनों वकील कोर्ट में खड़े कर दिए गए और दलील दी कि ये याचिका ऐसे कैसे वापस हो सकती है. सपा ने जिस तरह इतने वकील कोर्ट में खड़े किए उससे साफ हो गया कि सपा ही मिल्कीपुर में चुनाव नहीं चाहती है. जब हम याचिका वापस ले रहे थे तो सपा ने इतने वकील क्यों भेजे? यानी सपा चुनाव नहीं चाहती है. इसी वजह से इसमें नई तारीख लग गई.
उन्होंने अखिलेश यादव पर निशाना साधते हुए कहा कि सपा अध्यक्ष ने दोमुंही बात की, पहले लिखा जिसने जंग टाली उसने जंग हारी और फिर ये क्या था. जब हम अपनी याचिका वापस लेने गए थे तो इतने वकीलों को भेजने की जरूरत ही क्या था. इस बात पर बहस की गई ताकि किसी तरह चुनाव टल जाए. बीजेपी को जब से ये पता चला है तब से हम इस बात में लगे है कि चुनाव इसी समय हो जाए. हमने चुनाव आयोग से भी बात कर ली थी. लेकिन जो ये कह रहे थी बीजेपी डरी है वास्तव में डरी समाजवादी पार्टी है जो अब साफ हो गया है.
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