Bulandshahr Police Custody Death Case: बुलंदशहर (Bulandshahr) में पुलिस कस्टडी डेथ मामले में हत्या (Murder) की धाराओं में मामला दर्ज हुआ है. कस्टोडियल डेथ मामले में बुलंदशहर की खुर्जा कोतवाली के तत्कालीन थाना प्रभारी इंस्पेक्टर मिथलेश उपाध्याय, खुर्जा के जंक्शन चौकी प्रभारी बहादुर सिंह, उपनिरीक्षक रामसेवक समेत 11 पर एफआईआर (FIR) दर्ज हुई है. 12 दिसंबर 2020 को खुर्जा के कनेनी निवासी सोनू (Sonu) की पुलिस कस्टडी में मौत हुई थी, जिसमें मृतक के परिजनों ने तत्कालीन थाना प्रभारी, चौकी प्रभारी और एक दारोगा पर 8 लोगों के साथ मिलकर मृतक को अवैध हिरासत में रखने और उसकी हत्या करने का आरोप लगाया था.


हाईकोर्ट के आदेश पर दर्ज हुई एफआईआर 
हालांकि जब सोनू उर्फ सोमदत्त की मौत हुई थी तो उस दौरान खुर्जा के तत्कालीन थाना प्रभारी मिथलेश उपाध्याय ने दावा किया था कि मृतक पर खुर्जा कोतवाली में युवती के अपरहण का मामला दर्ज किया गया था. जबकि, मृतक के परिवार ने आरोप लगाया था कि पुलिस युवती के परिवार से सांठगांठ कर शख्स को अवैध हिरासत में लिया और उसकी हत्या कर दी. अब इस मामले में हाईकोर्ट के आदेश पर बुलंदशहर एसीजेएम प्रथम की जांच के बाद तत्कालीन थाना प्रभारी समेत 11 पर ये एफआईआर दर्ज हुई है.


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गौरतलब है कि, इस मामले में जिन पुलिसकर्मियों को नामजद किया गया उनमें थाना खुर्जा नगर कोतवाली के तत्कालीन प्रभारी मिथलेश उपाध्याय हापुड़ में तैनात हैं जबकि जंक्शन बहादुर बुलंदशहर में ही तैनात हैं और उपनिरीक्षक रामसेवक अब रिटायर हो चुके हैं. 


कार्रवाई की जा रही है
एसपी सिटी सुरेंद्र नाथ तिवारी ने बताया कि यहां पर साल 2020 में एक पुलिस कस्टोडियल डेथ की घटना हुई थी. एक अभियोग पंजीकृत कराया गया था. फिर जांच हुई है जिसमें पुलिसकर्मियों को दोषी पाया गया है. अभियोग पंजीकृत किया गया है जिसमें 3 पुलिसकर्मी हैं, एक इंस्पेक्टर, 2 एसआई हैं, कार्रवाई की जा रही है.


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