प्रयागराज, एबीपी गंगा। उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग की वित्त नियंत्रक की घूसखोरी ने एक बार फिर न सिर्फ प्रदेश की सबसे बड़ी परीक्षा कराने वाली संस्था बल्कि उत्तर प्रदेश सरकार की साख पर भी बट्टा लगाया है। महीनों से पीसीएस मेंस परीक्षा की तैयारी कर रहे युवाओं के सपनों को पेपर लीक कराने वाले धंधेबाजों ने चकनाचूर किया है।


कौन देगा जवाब


उत्तर प्रदेश में सरकार कोई भी रही हो लेकिन घूसखोर अफसरों के गठजोड़ ने पेपर लीक कराने के धंधे की जड़ों को साल दर साल मजबूती दी है। कभी ऑनलाइन हुई परीक्षा में साइबर अपराधियों ने सेंधमारी की, तो कभी ऑफलाइन परीक्षा में प्रश्न पत्र प्रिंटिंग प्रेस से ही चोरी हो गया। चंद लोगों की मिलीभगत और घूसखोरी से उत्तर प्रदेश में होने वाली चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी से लेकर पीसीएस अफसरों की परीक्षा कटघरे में खड़ी हो गई हैं।


बोर्ड पर कार्रवाई की मांग


इस बीच एलटी ग्रेड शिक्षक भर्ती परीक्षा का प्रश्नपत्र लीक होने से भड़के अभ्यर्थियों ने शुक्रवार को उप्र लोकसेवा आयोग (यूपीपीएससी) का सामूहिक घेराव किया। इसमें पीसीएस और पीसीएस जे तथा सहायक अभियोजन अधिकारी (एपीओ) परीक्षा के अभ्यर्थी भी शामिल हुए। अभ्यर्थियों ने परीक्षा नियंत्रक अंजू कटियार के कार्यकाल की सभी परीक्षाएं निरस्त करने और बोर्ड पर भी कार्रवाई की मांग की।


गर्मी में डटे रहे अभ्यर्थी


यूपीपीएससी पर विरोध प्रदर्शन करीब साढ़े तीन घंटे तक चला। पुलिस और आरएएफ के जवानों सहित फायर ब्रिगेड की टीम भी मुस्तैद रही। वहीं, यूपीपीएससी में प्रोफेसर अनिरुद्ध सिंह की अध्यक्षता में बोर्ड की आकस्मिक बैठक चलती रही। इसमें पिछले तीन दिनों से उत्पन्न स्थिति, परीक्षाओं तथा परिणाम पर विचार होता रहा। परिसर के बाहर प्रतियोगी संगठन तख्तियों पर स्लोगन लिखकर नारेबाजी करते रहे। झुलसाती गर्मी के बीच छात्र-छात्राएं सड़क पर डटे रहे।


पुलिस ने किया लाठीचार्ज


दोपहर दो बजे के आसपास पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों ने धारा 144 लागू होने की जानकारी देते हुए प्रदर्शनकारियों को सड़क से हट जाने की चेतावनी दी। न हटने पर पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया। छात्रों ने पथराव भी किया। लेकिन, पुलिस के तेवर देख प्रदर्शनकारी भाग निकले।