(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
चमोली करंट हादसा: एक और आरोपी गिरफ्तार, कंपनी के मालिक की भूमिका की जांच जारी
Chamoli News: चमोली के पुलिस अधीक्षक प्रमेंद्र डोबाल ने बताया कि एसटीपी (NTPC) के संचालन में लापरवाही बरतने के आरोपी भास्कर महाजन को ग्रेटर नोएडा (Greater Noida) से गिरफ्तार किया गया है.
Chamoli Accident News: उत्तराखंड (Uttarkhand) के चमोली जिले के जल मल शोधन संयंत्र (NTPC) में करंट दौड़ने से 16 लोगों की मौत हो गई थी. इस मामले में पुलिस ने उसका संचालन करने वाली संयुक्त उपक्रम कंपनी के परियोजना प्रबंधक को भी गिरफ्तार कर लिया है. यह मामले में हुई चौथी गिरफ्तारी है. चमोली के पुलिस अधीक्षक प्रमेंद्र डोबाल ने इस संबंध में जानकारी दी है.
पुलिस अधीक्षक ने मंगलवार को बताया कि एसटीपी के संचालन में लापरवाही बरतने के आरोपी भास्कर महाजन को उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा से सोमवार को गिरफ्तार किया गया. इससे पहले, मामले में उत्तराखंड जल संस्थान के चमोली में कार्यरत प्रभारी सहायक अभियंता हरदेवलाल आर्य, बिजली विभाग के लाइनमैन महेंद्र सिंह और संयुक्त उपक्रम कंपनी के स्थानीय सुपरवाइजर पवन चमोला को गिरफ्तार किया जा चुका है.
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कंपनी के मालिक की भूमिका की जांच
घटना के सिलसिले में भविष्य में और गिरफ्तारियों के लिए कंपनी के मालिक और अन्य व्यक्तियों की भूमिकाओं की भी जांच की जा रही है और साक्ष्य जुटाए जा रहे हैं. चमोली में अलकनंदा नदी के किनारे नमामि गंगे परियोजना के तहत बने एसटीपी में 18 और 19 जुलाई को करंट दौड़ने की दो घटनाओं में 16 लोगों की मौत हो गई थी और 11 अन्य घायल हो गए थे. हादसे के बाद प्रभारी सहायक अभियंता आर्य को निलंबित कर दिया गया था.
हादसे के संबंध में चमोली कोतवाली में चमोला और अन्य के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा-304 (गैर-इरादतन हत्या) और 13/31 खतरनाक मशीन विनियमन अधिनियम-1983 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था. डोबाल के अनुसार, मामले की जांच के दौरान जल संस्थान एवं विद्युत विभाग के अधिकारियों से पूछताछ एवं घटनास्थल के निरीक्षण से इस बात की पुष्टि हुई है कि एसटीपी का संचालन करने वाली संयुक्त उपक्रम की कंपनियों-पटियाला की जयभूषण मलिक और कोयंबटूर की कॉन्फिडेंट इंजीनियरिंग इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के अलावा संयंत्र के संचालन पर नजर रख रहे जल संस्थान के प्रभारी सहायक अभियंता हरदेव लाल आर्य ने खतरनाक विद्युत उपकरणों के संचालन में घोर लापरवाही बरती.
करंट दौड़ने से लोगों की मौत
डोबाल के मुताबिक, आरोपियों ने सुरक्षा मानकों के विपरीत ‘चेंज ओवर’ को स्टेबलाइजर बॉक्स के ऊपर रखा था और पूरे एसटीपी को टीन शेड एवं विद्युत सुचालक लौह धातु से बनी संरचना में चलाया जा रहा था, जिससे करंट दौड़ने से लोगों की मौत हो गई. पुलिस अधीक्षक ने बताया कि जांच में एसटीपी के संचालन एवं सुपुर्दगी के अनुबंध में भी गंभीर अनियमितताएं पाई गई हैं. बिजली विभाग के लाइनमैन महेंद्र सिंह पर आरोप है कि उसने एसटीपी में एक व्यक्ति के मृत पड़े होने की सूचना दिए जाने के बावजूद सावधानी नहीं बरती और ‘फॉल्ट’ को ठीक कर बिना जांच पड़ताल के लाइन में बिजली चालू कर दी.
इससे एसटीपी में खुली हुई लाइन एवं चेंज ओवर में धमाके के साथ चारों तरफ करंट फैल गया. एसटीपी में अफरा-तफरी मच गई और करंट लगने से लोग एक-दूसरे पर गिरने लगे. पुलिस अधीक्षक के मुताबिक, चमोली कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक कुलदीप रावत मामले की जांच कर रहे हैं. उन्होंने बताया क घटना की गंभीरता को देखते हुए चमोली के पुलिस क्षेत्राधिकारी प्रमोद शाह के नेतृत्व में तीन टीमों का गठन कर एसटीपी के संचालन में विद्युत उपकरण, सुरक्षा मानकों तथा अनुबंध की शर्तों सहित कई बिंदुओं की गहराई से जांच करने के निर्देश दिए गए हैं.