लखनऊ: यूपी के मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने शनिवार को वित्तीय वर्ष 2021-22 के बजट के संबंध में सभी मंत्रियों और विभागीय अधिकारियों के साथ बैठक की और 500 करोड़ रुपये से अधिक के सालाना बजट वाले विभागों की समीक्षा की. सरकारी आवास पर शनिवार को आयोजित बैठक में मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने मंत्रियों और अधिकारियों को बजट के संबंध में आवश्‍यक दिशा निर्देश भी दिए.


रोजगार सृजन को प्राथमिकता दी जाए
आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक सीएम योगी ने कहा कि,''युवाओं को रोजगार से जोड़ने के हमारे प्रयास सफल रहे हैं और ये क्रम सतत जारी रहे. कोई भी सरकारी नीति या फिर नई योजना शुरू करने में रोजगार सृजन को आवश्यक तत्व के रूप में प्राथमिकता दी जाए.''


जनता के प्रति है जवाबदेही
मंत्रियों को अपनी विभागीय प्रगति से जनता को अवगत कराने के दिशा निर्देश देते हुए मुख्‍यमंत्री ने कहा कि, ''हमारी जवाबदेही जनता के प्रति है और प्रभारी मंत्री अपने लिए तय जिलों में नियमित भ्रमण करते रहें, योजनाओं की प्रगति की समीक्षा करें. विभागीय मंत्री नियमित अंतराल पर केंद्रीय मंत्रालयों से संपर्क करते रहें.''


नए बजट के केंद्र में होगी लोक कल्याण की भावना
सीएम योगी ने कहा कि, ''नए बजट के केंद्र में लोक कल्याण की भावना ही होगी और ये कार्य तेजी से जारी है. सभी विभाग शत-प्रतिशत उपयोगिता प्रमाण पत्र भेजना सुनिश्चित करें और केंद्र से सामंजस्य स्थापित कर अवशेष धनराशि प्राप्त करें.''


उपभोक्‍ताओं की शिकायतें बंद हों
मुख्‍यमंत्री ने आम जन की सुविधा को लक्ष्‍य बनाने और सौभाग्य अथवा दीन दयाल उपाध्याय योजना के जरिए विद्युतीकरण के अधूरे कार्यों को तेजी से पूरा करने पर जोर दिया. सीएम योगी ने खासतौर से कहा कि ओवरबिलिंग और स्मार्ट मीटर से जुड़ी उपभोक्‍ताओं की शिकायतें बंद हों और मीटर रीडिंग करने वालों की भी जवाबदेही तय हो, साथ ही जिनसे बिजली खरीद रहे हैं उनका समय पर भुगतान सुनिश्चित किया जाए.


अधूरे कार्यों को पूरा करने पर जोर
मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने कहा कि भारत-नेपाल सीमा सामरिक रूप से हमारे लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं और इस क्षेत्र की सड़कों से जुड़ी परियोजनाएं शीघ्रता से पूरी की जाएं. उन्‍होंने विभागों को परियोजनाओं के लक्ष्‍य सौंपे और अधूरे कार्यों को पूरा करने पर जोर दिया, सीएम ने कहा कि सरयू नहर परियोजना और मध्य गंगा परियोजना को प्राथमिकता के साथ पूरा किया जाए. गंगा एक्सप्रेस-वे के लिए भूमि अधिग्रहण का कार्य शुरू हो चुका है और इसे तत्परता के साथ किए जाने की जरूरत है.


पराली प्रबंधन को लेकर कार्ययोजना बनाए जाने की जरूरत
सीएम योगी ने कहा कि इसके अलावा पराली प्रबंधन और ठोस कचरा प्रबंधन के लिए समन्वित कार्ययोजना बनाए जाने की जरूरत है. पराली प्रबंधन के लिए केंद्र सरकार की सहायता भी प्राप्त हो रही है. उन्‍होंने कहा कि प्रदेश सरकार सभी 75 जिलों में मेडिकल कॉलेजों की स्थापना के लिए काम कर रही है और जिन 13 जिलों में स्थापना प्रस्तावित है, वहां यथासम्भव शिलान्यास का कार्य करा दिया जाए.


एयर कनेक्टिविटी हो बेहतर
योगी ने कहा कि एयर कनेक्टिविटी के लिहाज से उत्तर प्रदेश देश का सर्वश्रेष्ठ राज्य होने की ओर अग्रसर है, मुरादाबाद, सहारनपुर, श्रावस्ती हवाई अड्डे के लाइसेंसिंग की प्रक्रिया चल रही है. उन्होंने कहा कि चित्रकूट, ललितपुर और अयोध्या हवाई अड्डे के निर्माण की प्रक्रिया प्राथमिकता के साथ शुरू की जाए.


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