लखनऊ, अनुभव शुक्ल। मुख्यमंत्री आवास पर शुक्रवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने फर्रुखाबाद में बंधक बनाए गए बच्चों को सम्मानित किया। इस दौरान उन्होंने बहादुर बच्ची अंजली को 51 हजार रुपये का पुरस्कार देने का भी एलान किया। अंजली ने बहादुरी का परिचय देते हुए उस दिन सिलेंडर बम का तार अपने दांतों से काट कर बम को निष्क्रिय कर दिया था। अंजली का साफ तौर पर कहना है कि उस दिन वो बेहद डरी हुई थी लेकिन बच्चों को बचाना था इसलिए उसने हिम्मत दिखाते हुए तार काट दिया था।


ऑपेरशन मासूम में बच्चों को सकुशल छुड़ाने वाले आईजी मोहित अग्रवाल का कहना है कि उन्होंने अपने 20 साल के करियर में इस तरह की किसी भी वारदात से उनका सामना नहीं हुआ था, क्योंकि यहां मासूम बच्चे एक सनकी की कैद में थे। वहीं उन्होंने बदमाश सुभाष बाथम की अनाथ बेटी गौरी को गोद लेने पर कहा कि वो चाहते हैं कि गौरी एक आईपीएस अफसर बनें।


बच्चों को बंधक बनाने वाले सनकी सुभाष बाथम की बेटी गौरी की देखरेख अब महिला सिपाही रजनी करती है। गौरी रजनी के साथ ही हमेशा रहती है। रजनी का भी कहना है कि वह उससे बिल्कुल घुल मिल गई है।


पुलिस टीम को 10 लाख का चेक 


मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को इस ऑपरेशन में शामिल सभी पुलिस अधिकारियों को भी प्रशस्ति पत्र और 10 लाख का चेक देकर सम्मानित किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस घटना में घायल ग्रामीण के इलाज का खर्च सरकार वहन करेगी। इसके साथ ही सरकार द्वारा घायल ग्रामीण के लिए 50 हजार रुपये दिए जाने की घोषणा भी की गई।


इसके अलावा मुख्यमंत्री ने फर्रुखाबाद जिले के अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि करथिया गांव में गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले सभी परिवारों को मुख्यमंत्री आवास योजना के अंतर्गत मकान दिलाने की व्यवस्था की जाए। इसके अतिरिक्त जिनके पास सड़क, शौचालय अथवा स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था नहीं है, उनके यहां सभी सुविधाएं उपलब्ध कराने की व्यवस्था करने के लिए जिला प्रशासन 3 दिन के भीतर प्रस्ताव भेजना सुनिश्चित करें।