हरिद्वार, एबीपी गंगा। किसी भी धर्म में भूखे को भोजन कराना सबसे बड़ा पुण्य का कार्य है। फिर चाहे वह इंसान हो या जानवर। लॉकडाउन के दौरान ऐसे ही वक्त में दो युवा ऋषिकेश में जानवरों के भोजन की व्यवस्था कर रहे हैं। फिर चाहे शहर में घूम रहे आवारा पशु हों या जंगल में रहने वाले बंदर। ये युवा हर किसी को भोजन उपलब्ध कराने के लिए हर संभव प्रयास में जुटे हैं।


ऋषिकेश में लॉकडाउन के चलते लोगों को काफी परेशानी उठानी पड़ रही है। ऐसे में कई समाजसेवी संगठन लोगों की मदद के लिए सामने आ रहे हैं। कुछ युवा बेजुबान जानवरों की भी मदद कर रहे हैं। ये युवा नगर में आवारा पशुओं के लिए चारे की व्यवस्था तो करते ही हैं साथ ही ऋषिकेश-देहरादून हाईवे के किनारे विचरण करने वाले जंगली बंदरों को भी चना और दाना खिला रहे हैं।



हाईवे पर आवाजाही के दौरान लोगों ने इन बंदरों को खाद्य सामग्री डालकर इन्हें मोहताज बना दिया था, लिहाजा बंदर जंगल में न जाकर हाईवे पर ही वाहनों का इंतजार करते हैं कि कोई आएगा और उन्हें खाने के लिए कुछ दाना-पानी देगा लेकिन लॉकडाउन के चलते आवाजाही बंद है लिहाजा बंदरों को भी भोजन नसीब नहीं हो पा रहा। ऐसे में इन युवाओं की पहल बंदरों के लिए काफी कारगर साबित हो रही है।