देहरादून: उत्तराखंड विधानसभा का एक दिवसीय मानसून सत्र हंगामे के बीच अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया. सदन की कार्यवाही 3 घण्टे 6 मिनट चली और 2 घण्टे 9 मिनट बाधित रहा. भोजनावकाश के बाद सदन की कार्यवाही जैसे ही शुरू हुई तो विपक्ष बेरोजगारी और कोविड-19 को लेकर फैली अव्यवस्था पर चर्चा कराने की अपनी मांग पर अड़ा रहा.


लगाए गए आरोप
शोर-शराबे के बीच सत्ता पक्ष ने अपना सारे बिजनेस और समस्त विधेयक पटल पर रखे और वोटिंग के जरिए पारित करा लिए. शोर-शराबा चलता रहा तो कार्यवाहक स्पीकर रघुनाथ सिंह चौहान ने सदन को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया. इसके बाद सत्ता पक्ष और विपक्ष ने एक दूसरे पर आरोप भी लगाए.


विस्तार से चर्चा चाहता था विपक्ष
दरअसल, विपक्ष कार्यमंत्रणा समिति ने जिन मुद्दों पर चर्चा के लिए मंजूरी दी थी उन पर वो विस्तार से चर्चा चाहता था लेकिन सत्ता पक्ष की दलील थी कि कोरोना की वजह से एक दिन का सत्र है इसलिए समय सीमा सीमित है. विपक्ष अनियंत्रित महंगाई, बढ़ती बेरोजगारी, बिगड़ती कानून व्यवस्था और कोविड-19 समेत दैवीय आपदा पर विस्तृत चर्चा चाहता था.


कोरोना पॉजिटिव होने के चलते ये नहीं ले सके विधानसभा की कार्यवाही में भाग


- प्रेमचंद अग्रवाल, विधानसभा अध्यक्ष, (कोरोना पॉजिटिव)
- इंदिरा ह्रदयेश, नेता प्रतिपक्ष कांग्रेस, (कोरोना पॉजिटिव)
- हरक सिंह रावत, कैबिनेट मंत्री (कोरोना पॉजिटिव)
- धन सिंह रावत, राज्यमंत्री (कोरोना पॉजिटिव)
- करण माहरा, उपनेता कांग्रेस विधानमंडल दल (कोरोना पॉजिटिव)
- हरीश धामी, कांग्रेस विधायक, (कोरोना पॉजिटिव)
- पुष्कर सिंह धामी, भाजपा विधायक (पॉजिटिव)


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