Dussehra 2024: बुराई पर अच्छाई की जीत का पर्व दशहरा इस बार 12 अक्टूबर को मनाया जा रहा है. इसके लिए अलीगढ़ के नुमाइश मैदान में रावण, मेघनाथ और कुम्भकरण के पुतले तैयार किया जा रहे हैं. शौकत अली के द्वारा इन पुतलों को तैयार किया जा रहा है. जब यहां रावण मरता है, तो शौकत का घर चलता है. शौकत परिवार के साथ में रावण के पुतले तैयार करने का काम करते हैं. शौकत के दादा, पिता और अब खुद पिछले 30 साल से इस काम में लगे हुए हैं.


शौकत अली ने बताया कि वह बुलंदशहर के दानपुर गांव के रहने वाले हैं. हमारे दादा और पापा भी यह काम कर करते थे और हम भी यही काम करते हैं. मुझे करीब 30 साल हो गए इस काम को करते-करते. अलीगढ़ में 2008 से रावण का पुतला बना रहे हैं. बीच में चार-पांच साल छोड़ दिया उससे पहले भी 15 साल लगातार बनाया. इस बार तीन पुतले रावण मेघनाथ और कुंभकरण के हैं वह 65, 60 और 55 फीट के हैं. 


शौकत अली ने बताया कि, 11 सितंबर को हम लोग आए थे और तब से इसमें लगातार काम कर रहे हैं. उसके बाद पूरी साल हम मेहनत मजदूरी करते हैं लेकिन यही समय है जब हमारा करीब एक दो महीने का खर्चा निकल आता है. शुरुआत हमारे दादा ने की फिर पापा ने की और फिर हमने शुरुआत कर दी. यह तो देखो अपना काम धंधा है. ना हमें इस काम से कोई ऐतराज है. मुस्लिम होने के बावजूद हमें खुशी होती है कि हमारे देश की सभ्यता है इसमें कुछ नहीं है. काम में कोई बुराई नहीं है. हम रावण बनाकर परिवार पाल रहे हैं. 


दशहरे को लेकर सुरक्षा के कड़े इंतजाम
12 अक्टूबर को होने वाले दशहरे को लेकर के अलीगढ़ के नुमाइश मैदान में रामलीला कमेटी और प्रशासनिक अधिकारियों के द्वारा भी तैयारी को अंतिम रूप दिया जा रहा है. अलीगढ़ के एडीएम सिटी अमित भट्ट ने बताया कि त्योहार को मद्देनजर रखते हुए सुरक्षा के लिहाज से पुलिस प्रशासन द्वारा इंतजामात किये जा रहे हैं. साफ-सफाई से लेकर अन्य व्यवस्थाओं को चुस्त दुरुस्त किया जा रहा है.


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