PM Kisan Samman Nidhi: केंद्र सरकार द्वारा चलायी जा रही अति महत्वाकांक्षी प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना में एटा जनपद (Etah) में बड़ा घोटाला सामने आया है. इसके तहत किसानों को दी जानी वाली सम्मान निधि योजना में बड़ी अनियमितताएं सामने आयीं हैं जिससे इसका सही लाभ बड़ी संख्या में किसानों को नहीं मिल रहा है. एटा जनपद में बड़ी संख्या में अपात्र लोग किसान सम्मान निधि प्राप्त कर रहे हैं और पात्र लोग किसान सम्मान निधि के लिये जिला कृषि कार्यालय, तहसील, कानूनगो, लेखपाल के चक्कर लगा रहे हैं. बड़ी संख्या में ऐसे लोगों को किसान सम्मान निधि जा रही थी जो इस दुनिया में हैं ही नहीं, बड़ी संख्या में ऐसे लोगों को ये सम्मान निधि मिल रही थी जो भूमिहीन हैं. ऐसे लोग भी किसान सम्मान निधि ले रहे थे जो इनकम टैक्स दाता हैं. जिला प्रशासन द्वारा कराई गयी जांच में ये गंभीर तथ्य प्रकाश में आये हैं.
इस सबंध में जब एटा जनपद के उप कृषि निदेशक से बात की गयी तो उन्होंने बताया कि जब ये योजना लॉन्च हुई थी तो कुल 303000 का डाटा पोर्टल पर अपलोड किया गया था. इसमें से 285492 की यूनीक आईडी थी. कुछ डाटा दोबारा उपलोड हो गया था. उसके बाद जब बेनीफिशरी का आधार ऑथेंटिफिकेशन हुआ तो जिनका आधार कार्ड नहीं था या वो मिसमैच था वो बाहर किए गए. उसके बाद इस डाटा को इनकम टैक्स पोर्टल से जोड़ा गया और जो इनकम टैक्स दे रहे थे उनको रोका गया. इस प्रकार समय-समय पर शुद्धिकरण का कार्य होता रहा है. उसके बाद वो डाटा निकलकर सामने आया जिसमे 247489 किसान रेगुलर किसान सम्मान निधि पा रहे थे. इसके बाद ज़मीन का अंकन शुरू हुआ जो 10 अक्टूबर 2022 तक चला. इसमें कुल 225000 किसानों की ज़मीन मैच कराई गयीं और इसमें से 212000 का डाटा वैलीडेटेड हुआ. इस प्रकार 13000 किसानों का डुप्लीकेट डाटा निकला. इसके बाद हेल्प डेस्क से आपत्तियां मांगी गयी जिसमे 5000 और किसानों की ज़मीन मैच हो गयी. इस प्रकार से अंत में कुल 217000 किसानों का डाटा अबतक वैलीडेट हो चुका है.
अधिकारी ने किया चौंकाने वाला खुलासा
उप कृषि निदेशक रोहताश ने बताया कि फिर उनको राज्य सरकार से 65622 का डाटा मिला कि इतने की भूमि का अंकन नहीं हुआ. इसकी जांच करने पर 31368 किसान अपात्र मिले. जब उनसे पूछा गया कि जिन अपात्र लोगों को अभी तक किसान सम्मान निधि की राशि अवैध रूप से दे दी गयी उसकी क्या रिकवरी होंगी तो उन्होंने कहां कि इसकी रिकवरी की जाएगी.
उन्होंने बताया कि कुल अबतक कि जांच में 1989 किसानों को आयकर दाता होने के कारण बाहर किया जा चुका है और 4676 मृतक किसानों को किसान सम्मान निधि मिलने से बाहर किया जा चुका है और 15576 किसानों को भूमिहीन होने के कारण किसान सम्मान निधि मिलने से बाहर किया जा चुका है. इसी के साथ ही अभी तक कुल 36 लाख रुपये की रिकवरी उन किसानों से की जा चुकी है जो या तो मृतक, या इनकम टैक्स दाता होने या किसी अन्य श्रेणी में अपात्र होने के बाद भी किसान सम्मान निधि ले चुके थे. अभी जांच की प्रक्रिया जारी है और भी जो अपात्र मिलते जायेंगे उनको बाहर किया जायेगा.