Food Items Price Hike: सब्जी, दाल, मसाले, नमक, तड़का और सलाद खाने की थाली को मजेदार बनाते हैं. खाने वाला खुशमिजाज हो जाता है. लेकिन बीते महीनों से बारिश और बाढ़ ने लोगों का मिजाज खराब कर दिया है. बाढ़ और बारिश से निचले इलाकों में रहने वाले लोगों की जिंदगी प्रभावित हुई है. गगनचुंबी इमारतों में बैठे लोग भी चपेट में आ चुके हैं. बढ़ती महंगाई, सब्जियों, फलों, मसालों, दालों के दाम ने लोगों का जायका और मिजाज बिगाड़ दिया है. बीते 1 महीने में सब्जियों के दाम 20 से 40 प्रतिशत तक बढ़ गए हैं.


बारिश और बाढ़ ने ढाया कहर


घरेलू महिलाओं के बजट पर पूरी तरीके से ग्रहण लग चुका है. दिल्ली एनसीआर में बीते दिनों लगातार हुई तेज बारिश और बाढ़ ने सबसे ज्यादा प्रभाव सब्जियों की सप्लाई पर डाला है. यमुना और हिंडन के निचले इलाकों में हो रही सब्जी की खेती पूरी तरीके से बर्बाद हो गई है. इसकी वजह से सब्जियों और फलों के दाम आसमान छूने लगे हैं. बढ़ती महंगाई और दाम से न सिर्फ सब्जी और फल बल्कि किराने की दुकान का सामान भी लोगों की पहुंच से दूर हो गया.


खाने-पीने के सामान हुए महंगे


घरों तक सामान पहुंचाने वाले कई ऐप पर सब्जियों और फलों के दाम काफी ज्यादा दिखाई दे रहे हैं. पहले लोगों को लगता था कि ऐप पर सामान काफी सस्ता मिल जाता है  और आराम से घर तक डिलीवर भी हो जाता है. लेकिन सब्जी और फल के दामों को लेकर ऐप भी लोगों को धोखा देता दिखाई दे रहा है. बेहद जरूरी चीज सब्जियां और फल आजकल लोगों की पहुंच से काफी दूर चले गए हैं. चाहे लाल टमाटर हो या फिर शिमला मिर्च सभी के दाम आसमान छू रहे हैं.


नोएडा- ग्रेटर नोएडा में भले ही 250 तक पहुंचे टमाटर का भाव लुढ़क कर अब 100 के आसपास आते दिखाई दे रहा हो लेकिन ऐप पर अभी भी 200 के आसपास कीमत बनी हुई है. अदरक ने तो सबके होश उड़ा दिए हैं. भाव 300 रुपए प्रति किलो से नीचे नहीं आ रहा. रोजमर्रा की सब्जी तरोई, लौकी, भिंडी, फूल गोभी, शिमला मिर्च के दामों में 20 से लेकर 40 फीसद तक बढ़ोतरी हुई है. महंगा होने के कारण आम सब्जी जनता की पहुंच से दूर होती दिखाई दे रही है.


नोएडा के सेक्टर 12-22 में थोक विक्रेता मानवेंद्र सिंह बताते हैं कि लगातार सब्जियों के दाम बढ़ रहे हैं. भाव महंगा होने से ग्राहक कम आ रहे हैं. बहुत दिनों तक सब्जियों को सुरक्षित रखा नहीं जा सकता. एक कम ग्राहक और दूसरे सब्जियों के खराब होने की वजह से दोहरी मार झेलनी पड़ रही है. उन्होंने बताया कि आसपास से आने वाली सब्जियां बारिश और बाढ़ के चलते काफी रुक-रुक कर आ रही हैं. यमुना और हिंडन नदी के आसपास खेती करके भी किसान दिल्ली एनसीआर में सब्जियों और फलों की आपूर्ति को लगातार बनाए रखते हैं. इसकी वजह से दाम बहुत ज्यादा नहीं बढ़ते.


लेकिन बाढ़ की वजह से फसलें चौपट हो गई हैं और सब्जियां सड़ चुकी हैं. इस वजह से भी सब्जियों के दाम अब आसमान छू रहे हैं. उन्होंने बताया कि 40 से 50 रुपए किलो बिकनेवाली तरोई जैसी सब्जी अब 100 तक पहुंच गई है. लौकी का भाव 50 रुपए प्रति किलो हो गया है और भिंडी 60 से 100 रुपए में मिल रही है. ऐप से सब्जियों की खरीदारी पर पता चलेगा कि बाहर से करीब 10--20 रुपए ज्यादा मिल रहे हैं.


थोक विक्रेता का कहना है कि अभी तक एनसीआर और आसपास वाले क्षेत्र से हरी सब्जियों की आवक हो रही थी, मगर महंगाई की वजह से प्रशासनिक अधिकारियों ने मंडी पदाधिकारियों के साथ बैठक कर दूसरे प्रदेश से सब्जी मंगाने को कहा है. बढ़ी हुई सब्जियों की कीमत में अगस्त तक सुधार होने की उम्मीद है. करीब 20 से 30 रुपए तक की गिरावट आ जाएगी. सब्जियों के साथ साथ मसाले और तेल भी अब पहुंच से दूर होते दिखाई दे रहे हैं.


मसालों के दाम भी लगातार बढ़ रहे हैं और खाने का तेल, नमक, चीनी जैसे खाद्य पदार्थ भी अब महंगे हो रहे हैं. मसालों पर प्रति 100 ग्राम के भाव लगातार 10 से 20 प्रतिशत बढ़ रहे हैं. हल्दी की कीमत करीब 30 रुपए हुआ करती थी अब 34 रुपए हो गई है. लाल मिर्च 60 से 66 रुपए, जीरा 90 से 78 और गरम मसाले 100 से 110 पर पहुंच गए हैं.


तेल, नमक, चीनी के दाम भी लगातार बढ़े हैं. सरसों का तेल प्रति लीटर 150 से 165 से 170 रुपए पहुंच गया है. 24 रुपए में एक पैकेट मिलनेवाला नमक अब 30 और 35 रुपए का हो गया है. 36-38 रुपए किलो बिकनेवाली चीनी की कीमत अब 42 से 45 रुपए हो गई है.


परचून विक्रेता रंजीत सिंह बताते हैं कि बीते 2 से 3 महीनों में धीरे-धीरे दाम 20 से 40 प्रतिशत तक बढ़ गए हैं. उन्होंने बताया कि पैकेट पर धीरे-धीरे कर कभी 2 और कभी 5 रुपए दाम बढ़ते रहे. नोएडा के सेक्टर 93 में रहने वाली वैष्णवी बढ़ते दामों से काफी परेशान हैं.


उनका कहना है कि तेजी से सब्जी और फल के साथ-साथ किचन में इस्तेमाल होने वाले मसालों और तेल के भाव को देखकर लगता है कि आने वाले समय में उबला खाना ही खाना पड़ेगा. उन्होंने बताया कि टमाटर के दाम आसमान छू रहे हैं.


घरेलू महिलाओं ने अब सब्जी में टमाटर डालना बंद कर दिया है. चाय में पड़ने वाली अदरक ने स्वाद कड़वा कर दिया है. इसलिए अदरक का इस्तेमाल भी कम हो रहा है. इस सीजन में मिलने वाली सब्जी भिंडी, तोरई, लौकी के दाम आसमान छू रहे हैं. 


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