Uttarakhand News: पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेंद्र सिंह भंडारी ने बद्रीनाथ विधानसभा के मौजूदा विधायक महेंद्र प्रसाद भट्ट पर विधायक निधि में भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए 24 घंटे में जांच शुरू न कराए जाने पर लोकतांत्रिक तरीके से आंदोलन करने की चेतावनी दी है. दरसअल, उन्होंने यह आरोप नगरपालिका गोपेश्वर को दी गई विधायक निधि से खरीदे गए कूड़ेदानों की खरीद में की गई वित्तीय अनियमताओ को लेकर लगाए है. पूर्व मंत्री ने कहा कि जिला पंचायत अध्यक्ष पर लगे आरोपों की जांच तो 24 घंटे में शुरू कर दी गई. लेकिन बीजेपी विधायक की विधायक निधि की जांच आठ दिनों बाद भी शुरू न कराया जाना दुर्भाग्यपूर्ण है.


गोपेश्वर में पत्रकारों से बातचीत करते हुए पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेंद्र भंडारी ने कहा कि बदरीनाथ के मौजूदा विधायक महेंद्र प्रसाद भट्ट द्वारा पूरी विधानसभा में 1.50 करोड़ रुपए की विधायक निधि भाजपा नेता व कार्यकर्ता की संस्था को लाभ पहुंचाने के लिए खर्च की गई. आरोप लगाया कि इस राशि से शौचालय, कूड़ेदान, महिला व युवक मंगल दलों को सांस्कृतिक सामग्री, जैविक-अजैविक कूड़ेदान खरीदे जाने थे. कहा कि संस्था द्वारा धरातल पर कुछ कार्य नहीं किया गया और कागजों में निधि की अधिकतर राशि फर्जी बिल बनाकर खर्च कर दी. उन्होंने विधायक निधि के कार्योँ की टेंडर प्रक्रिया पर सवाल उठाते हुए कहा कि समाचार पत्रों में भी निविदाओं का प्रकाशन नहीं किया गया. कहा कि मौजूदा सरकार में दोहरे कानून चल रहे हैं. विधायक निधि के सरकारी धन का वारा न्यारा फर्जी एमबी बनाकर किया गया. उन्होंने कहा कि पक्ष व विपक्ष के लिए कानून बराकर होने चाहिए. विधायक निधि में हुए भ्रष्टाचार की उच्च स्तरीय जांच की मांग करते हुए पूर्व मंत्री ने आरोप लगाए कि सत्ता का इस्तेमाल कर विधायक अपने पर लगे आरोपों की जांच रुकवाना चाहते हैं. यही वजह है कि उन्होंने दो नवंबर को जिलाधिकारी चमोली, गढ़वाल कमिश्नर व सरकार को पत्र भेजने के बाद भी आज तक विधायक निधि में हुए घपले की जांच शुरू नहीं हो पाई है.


पूर्व कैबिनेट मंत्री ने दर्ज कराया मानहानि का मुकदमा 


चमोली जिला पंचायत से लेकर उनपर लगाए गए आरोपों के विरोध में पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेंद्र सिंह भंडारी ने चार व्यक्तियों व संस्थाओं पर 20 करोड़ रुपए की मानहानि का मुकदमा दर्ज कराया है. पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेंद्र सिंह भंडारी ने कहा कि उन्होंने चार व्यक्तियों व संस्थाओं को मान हानि का नोटिस भेजा है. बताया कि उन्हें न्यायालय से न्याय जरूर मिलेगा. बीते 23 अक्टूबर को चमोली जिला पंचायत उपाध्यक्ष लक्ष्मण सिंह रावत ने उन पर जिला पंचायत में भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे. जिसे देखते हुए पूर्व मंत्री ने जिला पंचायत उपाध्यक्ष लक्ष्मण सिंह रावत, जिला पंचायत सदस्य विनोद नेगी सहित दो अन्य संस्थाओं पर 20 करोड़ रुपए की मानहानि का दावा किया है.


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