यूपी: काशी में उफान पर मोक्षदायिनी, तेजी से बढ़ रहा जलस्तर, दहशत में लोग
पहाड़ों के साथ-साथ मैदानी इलाकों में भी तेज बारिश हो रही है. जिसके चलते नदियां उफान पर है. जलस्तर बढ़ने से पुरोहित पुरोहित अपनी चौकियां समेटने में लगे हैं.
वाराणसी. उत्तर प्रदेश के कुछ जिलों में भारी बारिश से लोग हलकान है. लगातार बारिश के कारण कई जिले बाढ़ की चपेट में है. 16 जिलों के लाखों लोग बाढ़ से प्रभावित बताए जा रहे हैं.उधर, काशी में मोक्षदायिनी कही जाने वाली गंगा नदी का उफान जारी है. हर तीन घंटे में एक सेंटीमीटर जलस्तर बढ़ रहा है. कई घाटों का आपसी संपर्क मार्ग बाधित है. यहां लोगों में दहशत पैदा हो गई है.
पहाड़ों के साथ मैदानी इलाकों में तेज बारिश गौरतलब है कि पहाड़ों के साथ-साथ मैदानी इलाकों में भी तेज बारिश हो रही है. जिसके चलते नदियां उफान पर है. जलस्तर बढ़ने से पुरोहित पुरोहित अपनी चौकियां समेटने में लगे हैं.
सरयू, घाघरा का जलस्तर बढ़ा सरयू, घघरा के बढ़े जलस्तर ने कई गांवों को प्रभावित किया है. तराई क्षेत्रों में नदियों का पानी खतरे के निशान के ऊपर बह रहा है. प्रदेश में 16 जिले बाढ़ की चपेट में हैं. बहराइच-महसी तहसील के जुगलपुरवा, जरमापुर, जमई गांव बाढ़ के पानी से घिर गए हैं. श्रावस्ती में हल्की बारिश के बावजूद राप्ती का जलस्तर तेजी बढ़ रहा है. इस कारण लोग सहमे हुए हैं. बहराइच के राहुल ने बताया कि महसी तहसील में एक दर्जन से ज्यादा गांव बाढ़ की चपेट में हैं. ज्यादातर गांवों के संपर्क मार्ग बाढ़ से प्रभावित हो गए हैं. लोगों को पानी के अंदर से होकर आना पड़ रहा है. लोग गांवों से ऊंचे स्थानों में रह रहे हैं.
बाढ़ के कारण डूबे खेत बाढ़ से कई इलाकों में खेत डूब गए हैं. किसानों को इससे काफी नुकसान हुआ है. राहत आयुक्त कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार, प्रदेश में अब तक 16 जिले- अंबेडकरनगर, अयोध्या, आजमगढ़, बहराइच, बलिया, बलरामपुर, बाराबंकी, बस्ती, देवरिया, गोंडा, गोरखपुर, खीरी, कुशीनगर, मऊ , संतकबीर नगर तथा सीतापुर के 642 गांव बाढ़ से प्रभावित हैं. इनमें से 362 गांव जलमग्न हैं.
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