हरिद्वार: भाजपा-कांग्रेस की सियासत में उलझी धर्म नगरी, शहर में लगा कूड़े का अंबार
धर्म नगरी में सफाई व्यवस्था का हाल खस्ता है। भाजपा कांग्रेस आपसी सियासत में उलझे हुये हैं। नगर निगम लाचार है, उसका कहना है कि हमारे पास पर्याप्त संसाधन नहीं हैं।
हरिद्वार, एबीपी गंगा। धर्मनगरी हरिद्वार में जगह-जगह फैली गंदगी को लेकर सियासत तेज हो गई है। भाजपा कांग्रेस गंदगी को लेकर कांग्रेस को जिम्मेदार बता रही है तो कांग्रेस बीजेपी को। दूसरी ओर गंदगी की वजह से श्रद्धालुओं और स्थानीय निवासियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। हरिद्वार की मेयर अनिता शर्मा का आरोप है कि शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक की शह पर निगम के अधिकारी उनकी अनदेखी कर रहे हैं और पूरा शहर कूड़े के ढेर पर है। वहीं निगम के अधिकारी दावा कर रहे हैं कि जल्द शहर से गंदगी खत्म कर दी जाएगी।
कूड़े को लेकर हरिद्वार में राजनीति गरमाई हुई है। गंदगी को लेकर हुई किरकिरी के बाद स्थानीय विधायक और सूबे के शहरी विकास मंत्री ने निगम के अधिकारियों की दो बैठकें बुलाई लेकिन मेयर को नहीं बुलाया गया। मेयर की अनुपस्थिति में हुई बैठकों में मंत्री जी ने अधिकारियों को अल्टीमेटम भी दिया लेकिन स्थिति अब भी जस की तस है। शहर में जगह जगह कूड़े के ढेर लगे हैं। नगर निगम के एमएनए आलोक पांडे का कहना है कि हमारे पास संसाधनों की कमी है, जिस कारण कूड़ा उठाने का कार्य समय से पूरा नहीं किया जा सका। अब अधिकृत कंपनी केआरएल के कर्मचारी गंदगी उठाने का कार्य कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमने शहरी विकास मंत्री से भी सहयोग करने की अपील की है अब जल्दी हरिद्वार में सफाई व्यवस्था दुरुस्त कर दी जाएगी।
नगर निगम की मेयर अनिता शर्मा का कहना है कि हरिद्वार में गंदगी का बुरा हाल है। गली मोहल्लों में कूड़े के ढेर पड़े हुए हैं। मेरे द्वारा कई बार एमएलए को बोला गया है सफाई व्यवस्था कराने को लेकर मगर वह सफाई व्यवस्था की तरफ कोई ध्यान नहीं दे रहे हैं। मैं जब से चुनाव जीत कर आई हूं तभी से सफाई व्यवस्था को पहली प्राथमिकता में रखा है। मेरे कई बार कहने के बावजूद भी एमएनए मेरे साथ निरीक्षण पर नहीं जाते हैं। जब मैं निरीक्षण पर जा सकती हूं तो वह क्यों नहीं जा सकते। जब मंत्री बैठक लेते हैं तो वह नाले में उतरकर सफाई करने लग जाते हैं। ऐसा लगता है कि यह सब कुछ मंत्री के इशारे पर ही हो रहा है।
अगर मंत्री जी को ही निगम चलाना था तो चुनाव की जरूरत ही क्या थी मेयर का कहना है कि हम इस बात को लेकर देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात करने की कोशिश करेंगे क्योंकि उन्होंने बोला था कि मुझे मां गंगा ने बुलाया है। तो हरिद्वार में भी मां गंगा है और गंगा की बेटी उनको हरिद्वार बुला रही है। एक बार आप हरिद्वार आ कर देखिये हरिद्वार कितना गंदगी से भरा पड़ा है।
नगर निगम में सबसे ज्यादा विरोध का सामना मेयर अनिता शर्मा के पति को ही करना पड़ रहा है क्योंकि अधिकारी और भाजपा आरोप लगाती है कि नगर निगम में मेयर पति हस्तक्षेप करते हैं और अधिकारियों को कार्य नहीं करने देते हैं। इसको लेकर मेयर पति अशोक शर्मा का कहना है कि एमएनए मेयर की भी नहीं सुनते हैं कई बार मेयर द्वारा उनको निरीक्षण के लिए बोला गया है मगर वह उनकी भी नहीं सुनते।
धर्म नगरी में जिस तरह से गंदगी का अंबार लगा पड़ा है। उससे लगता नहीं है कि जल्द सफाई व्यवस्था दुरुस्त हो पाएगी। मगर हरिद्वार में सफाई व्यवस्था को दुरुस्त करने के बजाय कांग्रेस और बीजेपी कूड़े पर ही राजनीति कर रही हैं। इससे जनता में भी आक्रोश पनप रहा है। अब