Ghaziabad Cyber Crime: डीपफेक की मदद से साइबर अपराधी अब आम लोगों को भी निशाना बनाने लगे हैं. गाजियाबाद में देश का पहला हैरान करने वाला मामला सामने आया है. साइबर अपराधियों ने उगाही के लिए रिटायर्ड आईपीएस अधिकारी की आवाज और चेहरा इस्तेमाल कर वीडियो बनाया. वीडियो की मदद से अपराधियों ने बुजुर्ग के साथ ठगी की वारदात को अंजाम दिया. पुलिस ने बुधवार को बताया कि मामला संज्ञान में आने के बाद फौरन मुकदमा दर्ज कर लिया. क्लर्क के तौर पर काम करने वाले गोविंदपुरम निवासी अरविंद शर्मा ने हाल ही में पहला मोबाइल फोन खरीदकर फेसबुक अकाउंट बनाया. 4 नवंबर को जालसाजों ने फेसबुक वीडियो कॉल के जरिए उनसे संपर्क साधा.


डीपफेक वीडियो की मदद से बुजुर्ग को बनाया निशाना


फोन उठाने पर दूसरी तरफ नग्र महिला दिखाई दी. उन्होंने फौरन फोन को कट कर दिया. एक घंटे बाद शर्मा को व्हाट्सएप पर दूसरी वीडियो कॉल आई. इस बार एक वर्दीधारी उन्हें धमकी दे रहा था. पीड़ित शख्स की बेटी मोनिका ने शिकायत में बताया कि पुलिस की वर्दी में नजर आ रहे शख्स ने पिता को पैसों का भुगतान नहीं करने पर मुकदमा दर्ज कराने की धमकी दी. उसने ये भी चेतावनी दी कि पिता का महिलाओं से बात करने का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल कर देगा. डरे हुए बुजुर्ग ने दामन को दाग से बचाने के लिए जालसाजों को बार-बार पैसे का भुगतान किया.


लगातार उगाही से खुदकुशी का आने लगा था विचार


जालसाजों की मांग पूरी करने के लिए पिता ने कंपनी से कर्ज भी लिया. बेटी ने बताया कि साइबर अपराधियों की वसूली से तंग आकर पिता खुदकुशी की सोचने लगे. 74 हजार रुपये का भुगतान करने के बाद पिता का धैर्य जवाब दे गया. आखिरकार शर्मा ने परिजनों को वारदात के बारे में बताया. परिजनों ने आईपीएस अधिकारी का पता लगाने के लिए गूगल पर सर्च किया.


पता चला कि वीडियो में पूर्व एडीजी प्रेम प्रकाश थे. परिजनों को यूपी पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी की धमकी और उगाही पर यकीन नहीं हुआ. उन्होंने पुलिस को मामले की जानकारी दी. कविनगर एसीपी अभिषेक श्रीवास्तव ने बताया कि शिकायत मिलने के बाद मंगलवार को वरिष्ठ नागरिक से संपर्क साधा गया. मामले का भंडाफोड़ करने के लिए साइबर सेल की मदद ली जा रही है. 


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