Ghazipur Fire Department: गर्मी का मौसम शुरू होते ही अग्निशमन विभाग की महत्ता बढ़ जाती है. गर्मी के महीने में किसानों की मेहनत की रबी की फसल पक कर तैयार हो जाती है. फसल पकने के बाद खेतों में आग लगने की घटना में इजाफा हो जाता है. ऐसे में अग्निशमन विभाग एक विकल्प होता है जो किसानों की गाढ़ी कमाई को आग से बचा सके. गाजीपुर जनपद में कुल सात विधानसभा सीटें है. लेकिन सिर्फ तीन गाजीपुर, जमानिया और मोहमदाबाद में फायर स्टेशन का निर्माण कराया गया है.


लोगों को होती है परेशानी


अन्य क्षेत्रों में फायर स्टेशन नहीं होने के चलते लोगों को समस्याओं का सामना करना पड़ता है. ऐसे में आग लगी की घटना पर जिला मुख्यालय से घटनास्थल पर जब तक फायर ब्रिगेड की गाड़ी पहुंचती है तब तक या तो गांव वाले आग बुझा चुके होते हैं या फिर आग सब कुछ खत्म कर चुकी होती है.


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कई अग्निशमन विभाग का निर्माण अधूरा


जनपद गाजीपुर में कुल 1268 ग्राम सभाएं हैं. इन ग्राम सभाओं में आग लगने पर आग बुझाने के लिए अग्निशमन विभाग की स्थापना की गई है. लेकिन जनपद में मात्र 3 विधानसभा में ही अग्निशमन विभाग के फायर स्टेशन हैं. वहीं अगर हम सैदपुर विधानसभा की बात करें तो सैदपुर विधानसभा में 2014 से फायर स्टेशन बन रहा है लेकिन अभी कंप्लीट नहीं हो पाया. जिसके चलते यहां पर कभी भी आग लगने की घटना होने पर गाजीपुर से अग्निशमन विभाग की गाड़ी पहुंचती है.


वहां के स्थानीय नागरिक भी बताते हैं कि अगर यहां का फायर स्टेशन बन गया होता तो अब तक सैकड़ों किसानों की हर साल फसल आग से नहीं जली होती. इसलिए सैदपुर में फायर स्टेशन की बहुत ही जरूरत है. इतना ही नहीं जखनिया विधानसभा में भी फायर स्टेशन बनाए जाने का प्रस्ताव है लेकिन अभी तक यहां पर भी नहीं बन पाया है.


लोगों ने रखी ये मांग


जखनिया विधानसभा के सीकडी गांव में 2017 में डेढ़ करोड़ की लागत से निर्माण शुरू हुआ, लेकिन अभी तक इसका ढांचा खड़ा होने के बाद कार्य अभी तक पूरा नहीं हुआ है. वहीं अग्निशमन विभाग के अधिकारी अनिरुद्ध सिंह से बात की गई तो उन्होंने बताया कि जखनियां तहसील क्षेत्र में आग लगने की घटना होने पर जिला मुख्यालय से जब तक गाड़ी पहुंचती है तब तक सब कुछ जलकर खत्म हो जाता है. इसके लिए इन लोगों ने कई बार शासन को पत्र भी लिखा है कि कम से कम प्रत्येक तहसील मुख्यालय पर फायर स्टेशन हो. जिससे किसी भी अप्रिय घटना की जानकारी होने पर कम से कम समय में पहुंचा जा सके. उन्होंने बताया कि उनके पास वाहनों की कोई कमी नहीं है लेकिन यहां पर मैन पावर की भारी कमी है.


कई पद हैं खाली


उन्होंने बताया कि सीएफओ का पद काफी दिनों से खाली चल रहा है. इसके अलावा एफएसओ का पांच पद है लेकिन कोई नियुक्ति नहीं है. एफएसएसओ का छह पद है जिसके सापेक्ष उनकी नियुक्ति है. इसके अलावा प्रधान अग्नि शामक 11 पद के सापेक्ष 9 की नियुक्ति है. ड्राइवरों की बात करें तो 11 के सापेक्ष मात्र चार ड्राइवर गाजीपुर जनपद में है. पांच बड़े वाहन भी हैं. ड्राइवरों की कमी के चलते कभी-कभी समय पर गाड़ी गंतव्य के लिए नहीं चल पाती है. ऐसे में इन सभी समस्याओं को लेकर शासन को लगातार पत्राचार किया जा रहा है और हमारी मांग है कि इन समस्याओं को जनहित में देखते हुए तत्काल इस पर कोई कार्रवाई की जाए.


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