Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा संचालित मदरसों में शिक्षकों की नियुक्ति मानक को तार पर रखकर की गई है. इसका खुलासा सूचना के अधिकार के तहत हुआ है जिसमें नगर पंचायत बहादुरगंज के चेयरमैन की स्थानीय मदरसे में सहायक अध्यापक के पद पर 2006 में नियुक्त हुई. इनकी नियुक्ति के लिए 55% अंक का मानक था, लेकिन कागजों में हेराफेरी कर 52% अंक पर ही इन्हें सहायक अध्यापक के पद पर नियुक्ति दे दी गई. इसे लेकर शिकायतकर्ता ने अल्पसंख्यक विभाग में इसकी शिकायत की है. इसके बाद अल्पसंख्यक अधिकारी ने निकहत परवीन का वेतन बाधित करते हुए इसमें कार्रवाई के लिए मदरसा बोर्ड के चेयरमैन से मार्गदर्शन मांगा है.
जनपद गाजीपुर में बहादुरगंज नगर पंचायत के चेयरमैन निकहत परवीन मौजूदा समय में चेयरमैन के साथ ही मदरसा मदरसतुल मसाकीन में सहायक अध्यापक के पद पर 2006 से कार्यरत हैं. इनकी नियुक्ति में शासनादेश के अनुसार 55 फीसदी अंक वाले को सहायक अध्यापक बनाया जाना था, लेकिन निकहत परवीन के द्वारा अपनी मार्कशीट में हेर फेर करते हुए इंटर के अंक में 260 की जगह पर 280 कर इस पद को हथिया लिया गया था.
शिकायतकर्ता ने क्या कहा
इसका खुलासा सूचना के अधिकार के तहत स्थानीय फैजान खान ने किया है. उन्होंने बताया कि निकहत परवीन के पति रियाज अंसारी लगातार कई बार बहादुरगंज के चेयरमैन रहे हैं और मुख्तार अंसारी गिरोह के सक्रिय सदस्य के रूप में भी शुमार हैं और इन्होंने फर्जीवाड़ा करते हुए सहायक अध्यापक के पद को हाथियाया है जिस पर करीब डेढ़ करोड़ तक वेतन भी ले चुके हैं जो कहीं ना कहीं गलत है और इसको लेकर उन्होंने शासन में भी शिकायत की है.
अधिकारी ने इसपर क्या कहा
गाजीपुर के मुख्य विकास अधिकारी प्रकाश गुप्ता से इस संबंध में बात की गई तो उन्होंने बताया कि इस बात की जानकारी होने पर कि इनकी फर्जी नियुक्ति है को लेकर रजिस्ट्रार उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा परिषद को पत्र लिखकर नियुक्ति के संबंध में मार्गदर्शन मांगा गया है, साथ ही साथ तत्काल प्रभाव से उनका वेतन भी बाधित कर दिया गया है, आगे जैसा आदेश होगा उसके अनुसार कार्यवाही की जाएगी.
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