UP Election 2022: गोंडा सदर से कांग्रेस ने महिला उम्मीदवार पर खेला दांव, जानिए कौन है मुकाबले में और क्या है चुनावी समीकरण
गोंडा में जातिगत आंकड़ों की संख्या का अनुमान लगाया जाए तो यहां सबसे अधिक ब्राह्मण मतदाता हैं. मुस्लिम मतदाताओं की संख्या काफी अधिक है. दलित और ओबीसी मतदाता निर्णायक भूमिका में रहते हैं.
UP Assembly Election 2022: गोंडा सदर विधानसभा सीट पर इस बार कांग्रेस ने महिला उम्मीदवार पर दांव खेला है. पार्टी ने रमा कश्यप को मैदान में उतारा है. कांग्रेस महिला प्रत्याशी रमा कश्यप कांग्रेस की नीतियों के साथ जनसंपर्क कर रही हैं. आजादी के बाद से गोंडा सदर विधानसभा पर लंबे समय तक कांग्रेस का कब्जा था उसके बाद कांग्रेस का यहां खाता नहीं खुला.
कब कौन जीता
1991 और सन 1993 में बीजेपी ने जीत हासिल की थी तो फिर 2017 में वापसी करते हुए सदर विधानसभा पर कमल खिला लिया. समाजवादी पार्टी के विनोद कुमार सिंह उर्फ पंडित सिंह ने 1996 और 2002 में लगातार विधायक बनने के बाद 2012 के चुनाव में वापसी की थी. सन 2007 के चुनाव में बसपा से जलील खान ने जीत हासिल की थी. कांग्रेस पार्टी लंबे समय के बाद यहां जीत हासिल नहीं कर पाई है. इसबार पार्टी ने महिला उम्मीदवार पर दांव खेला है. गोंडा की जनता कांग्रेस पर कितना भरोसा जताती है यह तो आने वाले 10 मार्च को ही साफ हो पाएगा.
गोंडा सदर विधानसभा पर आजादी के बाद से कांग्रेस का कब्जा रहा. 1957 के चुनाव में निर्दलीय उम्मीदवार को जीत हासिल हुई थी. 1962 और 67 के चुनाव में कांग्रेस से टिकट पाकर स्वतंत्रता संग्राम सेनानी ईश्वर शरण ने जीत हासिल की थी. 1968 और 1974 में जनसंघ से टिकट पाकर बाबू त्रिवेणी सहाय ने जीत हासिल की और जनता पार्टी के टिकट पर सन 1977 में फजलुलबारी उर्फ बन्ने भाई ने जीत हासिल की थी. उसके बाद फिर कांग्रेस पार्टी ने यहां पर तीन बार लगातार जीत हासिल की.
1980 1985 और 1989 चुनाव में कांग्रेस का कब्जा रहा. राम लहर में 1991 के चुनाव में कमल खिला. 1993 में भी कमल खिला. सपा के टिकट पर विनोद कुमार और पंडित सिंह ने 1996, 2002 और 2012 में जी हासिल की थी. 2007 के चुनाव में बसपा से जलील अहमद खान ने जीत हासिल की थी. 2017 चुनाव में बीजेपी के प्रतीक भूषण सिंह विधायक बने.
सपा-बीजेपी में है कांटे की टक्कर
गोंडा सदर विधानसभा में प्रतीक भूषण सिंह तो समाजवादी पार्टी से सूरज सिंह मैदान में हैं. इन दोनों नेताओं को सियासत विरासत में मिली है. कांग्रेस से रमा कश्यप तो बसपा पार्टी से जकी अहमद मैदान में हैं. प्रतीक भूषण सिंह और सूरज सिंह को सियासत विरासत में मिली है. प्रतीक भूषण ने सन 2017 के चुनाव में जीत हासिल की थी. 2022 के चुनाव में समाजवादी पार्टी और भारतीय जनता पार्टी में कांटे की टक्कर मानी जा रही है.
क्या हैं समस्याएं और कितने हैं मतदाता
गोंडा सदर विधानसभा पर मुद्दों की बात की जाए तो यहां सीवर लाइन नहीं है, नाली और जलभराव की समस्या रहती है. रोजगार और बिजली की समस्याएं बनी हुई हैं. यहां नगर क्षेत्र में आवारा पशुओं के आतंक की भी समस्याएं हैं. मतदाताओं की बात की जाए तो कुल मतदाता 3,40,985 है. जिसमें से पुरुष मतदाता की संख्या 1,82,973 है तो महिला मतदाताओं की संख्या 1,97,989 है.
क्या हैं जातिगत आंकड़े
गोंडा में जातिगत आंकड़ों की संख्या का अनुमान लगाया जाए तो यहां सबसे अधिक ब्राह्मण मतदाता हैं. मुस्लिम मतदाताओं की संख्या काफी अधिक है. दलित और ओबीसी मतदाता निर्णायक भूमिका में रहते हैं. कांग्रेस की महिला उम्मीदवार रमा कश्यप नामांकन के बाद महिलाओं के मुद्दों को लेकर जनता के बीच जाने की बात कर रही हैं. उन्होंने मौजूदा और पहले की सरकारों पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है.
कांग्रेस उम्मीदवार रमा कश्यप ने क्या कहा
गोंडा विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस की महिला उम्मीदवार रमा कश्यप ने कहा कि वह महिलाओं के मुद्दों को लेकर जनता के बीच जनसंपर्क कर रही हैं. प्रत्याशी बनाए जाने से पहले गोंडा के सभी बूथों पर लगभग जनसंपर्क कर चुकी हैं. उन्होंने यह साफ कर दिया है महिलाओं, किसानों और बेरोजगारों के मुद्दों को लेकर जनता के बीच जा रही हूं. उन्होंने कहा कि जिस तरीके से मौजूदा सरकार महिलाओं और किसानों की उपेक्षा कर रही है इन्हीं सब मुद्दों को लेकर हम जनता के बीच जाएंगे और प्रियंका दीदी का सपने को पूरा करेंगे. बता दें कि रमा कश्यप पहले से ही कांग्रेस की सक्रिय महिला कार्यकर्ता रही हैं और महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष भी रह चुकी हैं. रामा कश्यप बीपीएड की पढ़ाई पूरी चुकी हैं. वर्तमान में एलएलबी कर रही हैं.
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