UP Assembly Election 2022: यूपी के गोरखपुर में तीन विधायकों के टिकट कटने के बाद विरोधी तेवर भी दिखाई देने लगे हैं. खजनी से लगातार दो बार से विधानसभा चुनाव जीतने वाले संत प्रसाद ने शीर्ष नेतृत्‍व को उनके पक्ष में फैसला लेने के लिए दो दिन का अल्‍टीमेटम दिया है. उन्‍होंने कहा कि शीर्ष नेतृत्‍व ने कोई फैसला नहीं लिया, तो वे मंगलवार को चुनाव मैदान में उतरने का ऐलान कर देंगे. उन्‍होंने कहा कि वे दो बार से विधायक हैं. जनता में अच्‍छी साख है. इसके बावजूद उनका टिकट कटने से उनके समर्थक नाराज हैं.


खजनी और सहजनवां विधायक का कटा टिकट
यूपी के गोरखपुर शहर विधानसभा सीट से मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ के चुनाव लड़ने के ऐलान के बाद चार बार से लगातार विधायक डा. राधामोहन दास अग्रवाल ने चुप्‍पी साध ली. इसके बाद जारी हुई लिस्‍ट में बीजेपी शीर्ष नेतृत्‍व ने खजनी विधायक संत प्रसाद और सहजनवां से विधायक शीतल पाण्‍डेय का टिकट काट दिया गया. हालांकि शीतल पाण्‍डेय और उनके समर्थकों ने भी इसपर चुप्‍पी साध ली लेकिन दो बार से लगातार चुनाव जीत रहे संत प्रसाद के घर समर्थकों का तांता लग गया है. हालांकि इसके पहले वे साल 2007 में भी धुरियापार विधानसभा सीट से विधायक रहे हैं. 2008 के नए परिसीमन के बाद इस सीट का अस्तित्‍व समाप्‍त होने और खजनी विधानसभा सीट के अस्तित्‍व में आने के बाद बीजेपी ने साल 2012 और 2017 में उन्‍हें टिकट देकर विश्‍वास जताया था.


संत प्रसाद के तेवर बागी
संत प्रसाद के समर्थक खुले तौर पर पूर्व कैबिनेट मंत्री और खजनी से बीजेपी प्रत्‍याशी श्रीराम चौहान का विरोध कर रहे हैं. श्रीराम चौहान संतकबीरनगर के रहने वाले हैं. वे धनघटा सीट से विधायक रहे हैं. इस बार पार्टी ने उन्‍हें गोरखपुर के खजनी विधानसभा क्षेत्र से टिकट दिया है. यही वजह है कि संत प्रसाद और उनके समर्थक टिकट कटने से नाराज हैं. संत प्रसाद के बगावती तेवर भी नजर आ रहे हैं. उनका कहना है कि वे मुख्‍यमं‍त्री योगी आदित्‍यनाथ से मुलाकात भी करेंगे.


पक्ष में फैसला नहीं तो लड़ूंगा चुनाव-संत प्रसाद
संत प्रसाद ने कहा कि वे हनुमानजी के भक्‍त हैं. दो दिन के भीतर शीर्ष नेतृत्‍व ने उनके पक्ष में फैसला नहीं लिया तो वे मंगलवार को चुनाव लड़ने का ऐलान कर देंगे क्‍योंकि वे अपने समर्थकों को नाराज नहीं कर सकते हैं. उन्‍होंने कहा कि शीर्ष नेतृत्‍व को उनके सम्‍मान का ध्‍यान रखना चाहिए. वे प्रत्‍याशी बदले या नहीं बदलें उनकी और उनके समर्थकों के सम्‍मान की रक्षा होनी चाहिए. संत प्रसाद के बगावती तेवर से बीजेपी उम्‍मीदवार श्रीराम चौहान की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. इसके साथ ही गोरखपुर रीजन के 11 ऐसी सीटों पर जहां के विधायकों का टिकट कटा है, उसपर भी इसका असर पड़ सकता है.   


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