Gorakhpur News: काउंटिंग से पहले सरकारी वाहनों की जबरन तलाशी लेने के आरोप में सपा के पूर्व पार्षद गिरफ्तार
गोरखपुर में विधानसभा चुनाव मतगणना स्थल पर जाने वाले सरकारी वाहनों की तलाशी लेने के आरोप में समाजवादी पार्टी के एक पूर्व पार्षद को गिरफ्तार किया गया है.
Gorakhpur News: गोरखपुर जिले में विधानसभा चुनाव मतगणना स्थल पर जाने वाले सरकारी वाहनों की गलत तरीके से तलाशी लेने के आरोप में बृहस्पतिवार को समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के एक पूर्व पार्षद को गिरफ्तार किया गया है.
पुलिस सूत्रों ने बताया कि विधानसभा चुनाव के मतगणना से एक दिन पहले नौ मार्च को दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय परिसर में प्रवेश कर रही सरकारी गाड़ियों को सपा नेताओं और कार्यकर्ताओं ने जबरन रोककर उनकी तलाशी ली थी और इस दौरान उन्होंने अधिकारियों के साथ अभद्रता और नारेबाजी की साथ ही इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन को लेकर अफवाहें फैलाई.
इस मामले में कैंट थाने के इंस्पेक्टर शशि भूषण राय की तहरीर पर 50-60 अज्ञात लोगों के खिलाफ सरकारी काम में बाधा डालने तथा कई अन्य आरोपों में मामला दर्ज किया गया था. इसी सिलसिले में आज सपा के पूर्व पार्षद विजेंद्र अग्रहरि को गिरफ्तार किया गया.
सूत्रों ने बताया कि मामला दर्ज होने के बाद घटना की सीसीटीवी फुटेज के आधार पर बाकी आरोपियों की भी पहचान की जा रही है.
बस्ती में भी दर्ज हुआ था मुकदमा
इससे पहले बस्ती जिले में विधानसभा चुनाव मतगणना स्थल के अंदर जाने वाले प्रशासनिक अधिकारियों के वाहनों की तलाशी लेने वाले समाजवादी पार्टी कार्यकर्ताओं के खिलाफ हत्या के प्रयास समेत कई आरोपों में मुकदमा दर्ज किया गया था.
पुलिस अधीक्षक आशीष श्रीवास्तव ने मंगलवार को बताया था कि नौ मार्च को सपा नेताओं ने मतगणना स्थल पर जा रहे अधिकारियों की गलत तरीके से तलाशी ली थी. इस दौरान चुनाव पर्यवेक्षक के साथ—साथ उप जिलाधिकारी की गाड़ी की भी तलाशी ली गयी थी. इन मामलों में कुल सात शिकायतें प्राप्त हुई थी, जिनके आधार पर हत्या के प्रयास और सरकारी काम में बाधा डालने समेत कई आरोपों में करीब 100 अज्ञात सपा कार्यकर्ताओं पर पुरानी बस्ती थाने में रविवार को सात मुकदमे दर्ज किए गए हैं.
गौरतलब है कि मतगणना से एक दिन पहले नौ मार्च को बड़ी संख्या में सपा नेता और कार्यकर्ता मंडी समिति परिसर के बाहर एकत्र थे और गेट पर तलाशी लिये बगैर किसी को मतगणना स्थल तक नहीं जाने दे रहे थे. सपा नेताओं को इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) बदले जाने का संदेह था. इसी दौरान उन्होंने चुनाव पर्यवेक्षक और उप जिलाधिकारी की गाड़ियों की भी तलाशी ली थी.
बस्ती सदर के विधायक ने कही थी यह बात
कार्यकर्ताओं पर मुकदमा दर्ज होने के बाद बस्ती सदर सीट से सपा विधायक महेंद्र यादव ने इसे उत्पीड़न की कार्रवाई करार दिया है. उन्होंने जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक को सौंपे गये ज्ञापन में आरोप लगाया था कि पुलिस सपा नेताओं और कार्यकर्ताओं के घर पर रात में छापे मार रही है और महिलाओं को प्रताड़ित कर रही है.
सपा विधायक महेंद्र यादव ने कहा था कि निर्वाचन आयोग के दिशानिर्देशों के मुताबिक कोई भी गाड़ी स्ट्रांग रूम के 100 मीटर की परिधि के अंदर नही जा सकती है, इसलिए सपा के नेता और कार्यकर्ताओं ने स्ट्रांग रूम तक जाने वाली गाड़ियों की जांच करने का अनुरोध किया था, ताकि मतगणना में पारदर्शिता रहे.
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