गोरखपुर: उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में रहने वाले मौसम विज्ञानी से 4 लाख रुपए की रंगदारी मांगने वाले दो बदमाशों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. बदमाशों ने वैज्ञानिक के पड़ोस में रहने वाली महिला के माध्यम से रंगदारी मांगने के लिए पत्र भेजा था. इसके बदले महिला को बदमाशों ने 100 रुपए भी दिए थे. महिला ने जब मौसम विज्ञानी को पत्र दिया और उन्होंने उसे पढ़ा तो उनके होश उड़ गए.
महिला के हाथ से भेजा पत्र
गोरखपुर पुलिस लाइन के व्हाइट हाउस में सीओ कैम्पियरगंज दिनेश सिंह ने बताया कि गोरखपुर के गुलरिहा थानाक्षेत्र के शताब्दीपुरम कॉलोनी के रहने वाले मौसम विज्ञानी नलनीश कुमार चौधरी से अज्ञात बदमाशों ने 7 फरवरी को 4 लाख रुपए की रंगदारी मांगी थी. बदमाशों ने पड़ोस में रहने वाली महिला के हाथ से पत्र भेजा था. महिला को 100 रुपए भी दिए थे. इस संबंध में गुलरिहा पुलिस ने आईपीसी की धारा 506 और 386 के तहत मामला दर्ज किया.
फल विक्रेता हैं बदमाश
सीओ दिनेश सिंह ने बताया कि बदमाशों ने पड़ोस में रहने वाली बुजुर्ग महिला के माध्यम से रंगदारी के लिए पत्र भेजा था. उन्होंने बताया कि रंगदारी के लिए भेजे गए पत्र में रेलवे लाइन के किनारे 4 लाख रुपए भेजने की बात कही गई थी. इसके साथ ही ये भी धमकी दी गई थी कि रुपए नहीं देने पर उन्हें दोनों बच्चों से हाथ धोना पड़ेगा. दोनों बदमाश फल विक्रेता हैं. उन्होंने बताया के इन्होंने पंजाब से संतरे खरीदे थे. उसमें घाटा हुआ, जिसके बाद पैसों के लिए ये साजिश रची गई.
पुलिस ने घर से किया गिरफ्तार
पत्र में ये भी लिखा गया था कि वे 3 लाख रुपए वापस कर देंगे. सीसीटीवी में मोटर साइकिल से रंगदारी मांगने वाले दिखे थे. पुलिस ने बाइक की नंबर प्लेट से पहचान होने के बाद उन्हें घर से गिरफ्तार कर लिया. दोनों बदमाशों की पहचान हुमायूंपुर उत्तरी शिव मंदिर के पास रहने वाले रामकेश गुप्ता और दूसरे की पहचान खोराबार के नंदानगर एफसीआई रेलवे क्रासिंग के पास रहने वाले वीरेन्द्र निषाद के रूप में हुई है.
पुलिस ने किया खुलासा
पुलिस ने 2 किलोमीटर के दायरे में लगे सीसीटीवी फुटेज को खंगाला. मोटर साइकिल पर आए अज्ञात बदमाशों और सीसीटीवी के आधार पर महिला आशा देवी से पहचान कराई गई. उसने पत्र देने वाले बदमाशों और गाड़ी की सीसीटीवी फुटेज में पहचान की. घटना में प्रयुक्त बाइक की जांच आरटीओ कार्यालय से कराई गई. वाहन स्वामी का नाम निशा पत्नी हरिद्वार निवासी हरदिया पिछौरा थाना बेलीपार गोरखपुर प्रकाश में आया. निशा से पूछताछ करने पर पता चला कि बाइक का प्रयोग नंदानगर खोराबार के रहने वाले उसके भाई वीरेन्द्र निषाद ने किया था. वीरेन्द्र निषाद ने पूछताछ में बताया कि उसने रामकेश गुप्ता के साथ मिलकर साजिश रची थी.
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