लखनऊः उत्तर प्रदेश की राज्यपाल और कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल ने सोमवार को डॉक्टर भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय आगरा के कुलपति प्रोफेसर अशोक कुमार मित्तल को अनियमितता के आरोप में पद से हटा दिया और लखनऊ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर आलोक कुमार राय को तत्काल प्रभाव से आगरा विश्वविद्यालय के दायित्वों के निर्वहन हेतु अतिरिक्त कार्यभार सौंपा है.


हटाए गए आगरा विश्वविद्यालय के कुलपति 


राजभवन से सोमवार को जारी बयान के अनुसार राज्यपाल और कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल जो विश्वविद्यालय की चांसलर भी हैं उन्होंने सोमवार डॉक्टर भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय आगरा के कुलपति प्रोफेसर अशोक कुमार मित्तल के खिलाफ प्राप्त गम्भीर शिकायतों की जांच के लिये सेवानिवृत्त न्यायाधीश की अध्यक्षता में तीन सदस्यों की कमेटी का गठन किया है.


लखनऊ विश्वविद्यालय के कुलपति को मिला अतिरिक्त प्रभार


इसमें कहा गया है कि कुलाधिपति ने प्रोफेसर अशोक कुमार को कार्य से विरत कर दिया है और उनके स्थान पर लखनऊ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर आलोक कुमार राय को तत्काल प्रभाव से आगरा विश्वविद्यालय के दायित्वों के निर्वहन हेतु अतिरिक्त कार्यभार सौंपा गया है.


जांच के लिए तीन सदस्यी समिति का गठन


राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने प्रोफेसर अशोक कुमार मित्तल के खिलाफ शिकायतों की जांच के लिए तीन सदस्यी समिति का भी गठन किया है. जिसकी अध्यक्षता एक सेवानिवृत्त न्यायाधीश को सौंपी गई है. इस समिति को एक महीने के भीतर अपनी रिपोर्ट सौंपनी होगी.


पैनल का नेतृत्व न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) रंजना पांड्या करेंगी, जिसमें छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय, कानपुर के कुलपति प्रोफेसर विनय कुमार पाठक और सिद्धार्थ विश्वविद्यालय, कपिलवस्तु के पूर्व कुलपति प्रोफेसर सुरेंद्र दुबे इसके सदस्य होंगे.


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