Gyanvapi Masjid Case: सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में मंगलवार को ज्ञानवापी मस्जिद (Gyanvapi Masjid) विवाद को लेकर अहम सुनवाई हुई. जिस पर मुस्लिम पक्ष के लिए अंजुमन इंतजामिया कमेटी के वकील हुजेफा अहमदी ने दलील रखी. मुस्लिम पक्ष के वकील की मांग थी कि वाराणसी (Varanasi) कोर्ट में चल रही सुनवाई पर तुरंत रोक लगाते हुए पुरानी यथास्थिति को बरकरार रखा जाए. जिसके लिए 1991 के प्लेसेस ऑफ वर्कशीप एक्ट का हवाला दिया गया है.


सभी रखेंगे अपना पक्ष
सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को अपने निर्णय में वाराणसी कोर्ट के किसी भी तरह सुनवाई को लेकर रोक का आदेश नहीं दिया है. सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है वो 19 मई को सभी पक्ष को सुनेगा. जिसमें मुस्लिम पक्ष, हिन्दू पक्ष, यूपी सरकार और वारणसी कोर्ट में याचिका देने वाले वादी भी अपना पक्ष रख सकते हैं. यूपी सरकार की ओर से मंगलवार को सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता पेश हुए. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से पूरी जानकारी साझा करने के लिए कल तक का वक्त मांगा था. जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार की तारीख दी है.


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मुस्लिम पक्ष ने रखी थी ये मांग
हिन्दू पक्ष की ओर से दायर याचिका के वकील हरिशंकर जैन की तबियत खराब थी. वो मंगलवार को कोर्ट नहीं आये, लिहाजा हिंदू पक्ष की दलील भी 19 को सुनी जाएगी. मुस्लिम पक्ष के वकील अहमदी ने मंगलवार को वारणसी कोर्ट पर एकतरफा सुनवाई की बात कही. वहीं मुस्लिम पक्ष को ठीक से न सुनने की बात कही गई. जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा वो वारणसी कोर्ट को आदेशित करेगा कि सभी पक्षों को ठीक से सुनें. हालांकि अभी उसने ऐसा कोई आदेश कोर्ट को नहीं दिया है. संभव है कि 19 को सुनवाई के बाद SC वारणसी कोर्ट को कोई निर्देश दे.


अपने आदेश में SC ने मस्जिद में मिली शिवलिंग की सुरक्षा व्यवस्था के लिए डीएम को निर्देश दिया. साथ ही मस्जिद में नमाजियों की संख्या में लगी पाबंदी को भी खत्म किया. 19 तारीख को जब सुनवाई होगी तो SC सभी की दलील सुनने के बाद विस्तृत आदेश दे सकता है.


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