Haldwani News: हल्द्वानी में रेलवे की जमीन से अतिक्रमण हटाने की तैयारी में जुटा प्रशासन, जानिए- क्या हैं तैयारियां
Haldwani Protest: आईजी नीलेश आनंद ने कहा कि अतिक्रमण हटाने के लिए 14 कंपनी पीएसी, जिनमें पांच RAF की मांग की गई है. इसके अलावा गढ़वाल रेंज से एक हजार महिला, पुरुष सिपाही मांगे गए हैं.
Haldwani Land Eviction: हल्द्वानी रेलवे स्टेशन (Railway Station) के पास अतिक्रमण क्षेत्र गफूर बस्ती और बनभूलपुरा में नैनीताल हाईकोर्ट (Nainital High Court) के निर्देश के बाद अतिक्रमण हटाए जाने को लेकर प्रशासन पूरी तरह तैयार है. शुरुआती कार्रवाई में पिलर बंदी सीमांकन और जॉइंट सर्वे के काम पूरे हुए हैं. जिसमें स्थानीय प्रशासन पुलिस (Police) और रेलवे विभाग (Railway Department) संयुक्त रूप से इन सब कार्रवाई को अंजाम दे रहा है. इस बीच अतिक्रमण क्षेत्र में रह रहे लोग सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) की शरण में गए हैं जहां 5 जनवरी को इस मामले में सुनवाई लंबित है.
दरअसल रेलवे के अतिक्रमण का मामला साल 2016 में शुरू हुआ जब संबंधित मामले में हाईकोर्ट ने अतिक्रमण खाली करने को कहा था, लेकिन तत्कालीन समय पर रेलवे में बसे लोगों की दलील थी कि उनके तथ्यों को नहीं सुना गया जिसके पश्चात ये मामला हाईकोर्ट में चलता गया. दिसंबर के आखिरी सप्ताह में नैनीताल हाईकोर्ट ने 1 सप्ताह का नोटिस देकर रेलवे की भूमि से अतिक्रमणकारियों को हटाने के निर्देश दिए हैं. जिसके बाद से ही रेलवे और स्थानीय प्रशासन के समन्वय बैठक शुरू हुई और अतिक्रमण हटाने को लेकर यह कार्रवाई शुरू की गई.
फैसले के विरोध में सड़क पर उतरे स्थानीय
उधर दूसरी तरफ अतिक्रमण की जद में आए लोगों ने आंदोलन शुरू कर दिया और इस ठंड में हजारों बच्चों, महिलाओं और बुजुर्गों को बेघर न करने की सरकार से मांग की. दरअसल इस अतिक्रमण की जद में 4365 घर तोड़े जाने हैं जिसमें हजारों की संख्या में लोग प्रभावित होंगे. हालांकि प्रशासन अतिक्रमण हटाने के लिए पूरी तरह तैयार है. 8 जनवरी तक हल्द्वानी में भारी फोर्स पहुंच जाएगी जिसके बाद ये कार्रवाई शुरू हो सकती है.
प्रशासन ने की अतिक्रमण हटाने की तैयारी
कुमाऊं रेंज के आईजी नीलेश आनंद भरणे ने बताया कि अतिक्रमण हटाए जाने को लेकर 14 कंपनी पीएसी जिनमें पांच कंपनी रैपिड एक्शन फोर्स (RAF) की मांग की गई है. इसके अलावा गढ़वाल रेंज से 1000 महिला, पुरुष सिपाही की डिमांड की गई है. बड़ी संख्या में होमगार्ड और कुमाऊं रेंज के पुलिस अधिकारी और कर्मचारी भी बुलाए गए हैं. साथ ही अतिक्रमण हटाए जाने को लेकर जेसीबी पोकलैंड वेरेगेटिंग का सामान सहित अन्य महत्वपूर्ण आवश्यक चीजों को भी प्रशासन से उपलब्ध कराने को कहा गया है.
पुलिस अतिक्रमण क्षेत्र में रह रहे लोगों को उकसाने के लिए असामाजिक तत्व पर भी पूरी तरह से निगरानी रख रही है. लोकल इंटेलिजेंस यूनिट की एक्स्ट्रा यूनिट बुलाई गई है. साथ ही सोशल मीडिया में भी किसी प्रकार की भड़काऊ व हिंसात्मक पोस्ट पर निगरानी रखी जा रही है किसी भी कीमत पर बाहरी एलिमेंट तत्वों को यहां नहीं आने दिया जाएगा. इसके अलावा सत्यापन अभियान भी पुलिस के द्वारा चलाया जा रहा है.
सुप्रीम कोर्ट में 5 जनवरी को होगी सुनवाई
दूसरी तरफ नैनीताल हाई कोर्ट के निर्देश के बाद जहां स्थानीय जनप्रतिनिधि और क्षेत्रीय नेता लगातार सरकार से हजारों लोगों को इस ठंड में ना हटाए जाने की मांग कर रहे हैं तो वहीं पूर्व विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद बनभूलपुरा के अतिक्रमण को लेकर सुप्रीम कोर्ट में अतिक्रमणकारियों की तरफ से पैरवी करेंगे. कुल मिलाकर हल्द्वानी में रेलवे के अतिक्रमण का मामला पूरे देश में छाया है. टि्वटर में ट्रेंड होने के बाद सोशल मीडिया में भी जमकर एक्शन रिएक्शन का दौर चला है. फिलहाल एक ओर प्रशासन अतिक्रमण हटाने को तैयार है तो दूसरी तरफ 5 जनवरी को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई है फिलहाल अधिक्रमित क्षेत्र में रह रहे लोगों का भविष्य आने वाले समय के गर्भ में छिपा है.
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