शामली: उत्तर प्रदेश के शामली जिले में एक बार फिर स्वास्थ्य विभाग के दावों की पोल खुली है. एक तरफ जहां सरकारी हॉस्पिटल में मिलने वाली सुविधाओं का अभाव है तो वहीं कोरोना से लोगों को बचाव और हिदायत देने वाले डॉक्टर खुद लापरवाही करते हुए नजर आ रहे हैं. अस्पताल में ना तो सफाई की व्यवस्था है और ना ही आने वाले मरीजों और उनके तीमारदारों के लिए कोई सुविधा.
नहीं है साफ-सफाई
कोरोना काल में जहां साफ-सफाई और सोशल डिस्टेंसिंग से रहने के लिए सरकार बड़े-बड़े विज्ञापन करा रही है. वहीं, डॉक्टर खुद सरकारी हॉस्पिटलों में सरकार के आदेशों की धज्जियां उड़ाते हुए सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं कर रहे हैं. जिले के सरकारी हॉस्पिटल में रियलिटी चेक के दौरान पता चला कि हॉस्पिटल में ना तो साफ-सफाई की जा रही है और ना ही आने वाले मरीजों के लिए बैठने की व्यवस्था है. मरीज जमीन पर बैठे हुए नजर आए तो वहीं आसपास भी गंदगी भी दिखी.
नियमों का हो रहा है उल्लंघन
एक तरफ सरकार के आदेश पर जहां बुजुर्गों को कोरोना वैक्सीन लगाने के आदेश दिए गए हैं तो वहीं कोरोना वैक्सीन लगाने वाले स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी खुद नियमों का उल्लंघन करते हुए दिख रहे हैं. हॉस्पिटल इंचार्ज डॉ रमेश चंद्रा का कहना है कि कुछ डॉक्टर सरकारी काम से बाहर गए हैं. मास्क लगाने और सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का पालन किया जा रहा है. जबकि, तस्वीरे डॉ रमेश चंद्रा के दावे से उलट नजर आ रही है.
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