हरिद्वार, एबीपी गंगा। औली में गुप्ता बंधुओं के 200 करोड़ की शादी निपट गई है लेकिन उसके बाद अब नगर पालिका जोशीमठ और जिला प्रशासन के लिए चारों तरफ बिखरा हुआ कूड़ा हटाना चुनौती बन गया है। औली जो कि पर्यावरण के लिहाज से बहुत ही महत्वपूर्ण क्षेत्र माना जाता है, इस वक्त प्लास्टिक के कचरे से जूझ रहा है। इसके अलावा जो होटल और बड़े-बड़े सेलिब्रेटी के लिए पंडाल बनाए गए थे उन पर प्रयोग होने वाला प्लास्टिक अभी भी इस इलाके में पड़ा हुआ है। हालांकि नगर पालिका जोशीमठ ने दावा किया है कि वे इस कूड़े के ढेर को जैविक और अजैविक श्रेणी में बांटकर अलग कर लिया है।


अधिकारियों का कहना है कि इसे हटाने में लगभग 10 दिन लग गए हैं यानी कि नगरपालिका ने शादी से पहले ही कूड़ा निस्तारण करने के लिए कदम उठा दिए थे लेकिन अभी भी औली में हजारों कुंतल कूड़ा पड़ा हुआ है जिसको हटाना नगरपालिका के लिए चुनौती बना हुआ है। वहीं शादी में प्रयोग होने वाले फूलों को गांव के ग्रामीण अपने खेतों में खाद बनाने के लिए ले जा रहे हैं जिससे नगर पालिका को थोड़ी राहत तो मिली है लेकिन दूसरी तरफ अभी भी जो प्लास्टिक औली में पड़ा हुआ है, उसे हटाने के लिए नगर पालिका ने 20 से 30 सफाई कर्मचारियों को तैनात किया गया है। स्वयं नगर पालिका अध्यक्ष शैलेंद्र सिंह पवार औली में पड़े कूड़े को साफ करने की हर दिन मॉनिटरिंग कर रहे हैं।


औली में जहां एक और गुप्ता बंधुओं की शादी वेडिंग डेस्टिनेशन के लिए महत्वपूर्ण मानी जा रही है वहीं दूसरी तरफ अगर बात करें तो समय पर कूड़ा निस्तारण नहीं हुआ तो पर्यावरण के लिए खतरा पैदा हो सकता है। जल्द ही पहाड़ों में मानसून दस्तक देने वाला है और अगर मानसून से पहले कूड़ा निस्तारण नहीं किया गया तो यह बड़ा संकट बन सकता है। क्योंकि चारों तरफ बिखरा प्लास्टिक बरसात के समय अन्य जगहों पर भी बरसात के पानी के साथ खिसक सकता है इसलिए उसे समय पर निस्तारण करना अनिवार्य हो जाता है। लिहाजा जिला प्रशासन भी कूड़े को हटाने में नगर पालिका पर दबाव बना रहा है वहीं नैनीताल हाईकोर्ट ने इस पूरे मामले में हर दिन की रिपोर्ट सरकार को और साथ ही जिला प्रशासन चमोली को पेश करने के दिशा निर्देश भी दिए गए हैं।


जिला प्रशासन चमोली के द्वारा हर दिन की अलग अलग तरीके से फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी की जा रही है। 7 जुलाई को चमोली जिला प्रशासन ने गुप्ता बंधुओं की शादी में हुए नुकसान और फायदे का हाई कोर्ट में दस्तावेज जमा करने हैं। 8 जुलाई को इस पूरे मामले में सुनवाई होनी है जिसके लिए जिला प्रशासन के द्वारा पूरी तैयारियां की जा रही हैं। कूड़ा निस्तारण और अन्य सभी चीजों पर विशेष ध्यान रखा जा रहा है। नगरपालिका जोशीमठ को कोर्ट के आदेशानुसार तीन हजार रुपये प्रति दिन के हिसाब से गुप्ता बंधुओं को भुगतान करना है ताकि समय पर कूड़ा निस्तारण किया जा सके।