Chamoli News: उत्तराखंड में लगातार हो रही बारिश ने स्थानीय लोगों का जीना मुहाल कर रखा है. उत्तराखंड में कई स्थानों पर सड़कें बंद हैं, जिसके कारण स्थानीय लोग अपनी जान जोखिम में उबड़-खाबड़ रास्तों से जान जोखिम में डालकर यात्रा करने को मजबूर हैं. बता दें कि उत्तराखंड में भारी बारिश के चलते पंच केदार में शामिल भगवान कल्पेश्वर महादेव के दर्शनों को पिछले 20 दिनों से श्रद्धालु नहीं पहुंच पा रहे हैं. वहीं हेलंग उर्गम मोटर मार्ग 20 दिनों से जगह-जगह बंद होने के कारण उद्गम घाटी के दर्जनों गांव के लोगों को जान जोखिम में डालकर रास्ता तय करना पड़ रहा है. वही लगातार हो रही बारिश के कारण कई गांवों में जगह-जगह भू कटाव की घटनाएं भी बढ़ गयी हैं. इसके विपरित परिस्थितियों की परवाह ना करते हुए लोग जान हथेली पर रखकर आवागमन को मजबूर हैं.
राज्य में लगातार हो रही बारिश से जहां एक ओर जगह-जगह पर सड़कें बंद हो रही हैं. वहीं इसके कारण गांवों में अब खाने-पीने के सामान की कमी होने लगी है. इसके अलावा गैस का संकट भी धीरे-धीरे गहराने लगा है. लोग गांव में खुद को कैद जैसा महसूस करने लगे है. खराब मौसम में भी ग्रामीण किसी तरह जंगल की गीली लकड़ी को जलाने के लिए मजबूर हैं. बता दें कि कल्पेश्वर महादेव मंदिर से लेकर हेलंग तक जगह-जगह मोटर मार्ग बुरी तरह खराब हो गया है. वहीं निर्माणधीन भैटा भर्की बांसा सड़क पर विभागीय लापरवाही के चलते कल्पेश्वर महादेव मंदिर को खतरा पैदा हो गया है, वहीं भैटा गांव के आठ परिवार भूस्खलन की चपेट में आ गए हैं.
पंचम केदार कल्पेश्वर महादेव तक नहीं पहुंच रहे हैं श्रद्धालु
हेलंग उर्गम मोटर मार्ग बंद होने से पंचम केदार कल्पेश्वर महादेव पहुंचने वाले पर्यटकों की आवाजाही पूरी तरह से बंद हो गई है, जिसके कारण पर्यटन से जुड़े हैं स्थानीय कारोबारियों और होटल मालिकों को भारी नुकसान हो रहा है. बता दें कि हर साल हजारों की संख्या में श्रद्धालु उर्गम घाटी में पंचम केदार कल्पेश्वर महादेव, पंचबदरी ध्यान बदरी के दर्शनों के लिए पहुंचते हैं. यहीं से पर्यटक वंशीनारायण, नन्दीकुंड, मध्यमहेश्वर रूद्रनाथ, गिन्नी ग्लेशियर, फ्यूलानारायण,सोना शिखर, चेनाप घाटी, और भनाई बुग्याल समेत 50 से अधिक ट्रैकरूट को जाते हैं, जिससे स्थानीय लोगों को भी काफी कमाई होती है.
ये भी पढ़ें: