देहरादून: हरिद्वार महाकुंभ में होने वाले मुख्य स्नान के साथ शाही स्नानों में नहीं मिलेगी वीआइपी और वीवीआइपी को कोई जगह यानि कि कोई भी वीआइपी और वीवीआइपी कुंभ में पहुंचता है तो उनको भी आम जनता की तर्ज पर ही स्नान में भाग लेना पड़ेगा. साथ ही कुंभ में आने वाले सभी श्रद्धालुओं को कोविड-19 अधिनियम के तहत केंद्र सरकार की गाइड लाइन का भी पालन करना होगा. पुलिस मुख्यालय देहरादून में हुई इंटरस्टेट्स की अहम मीटिंग में महाकुंभ को लेकर अहम निर्णय लिए गए. डीजीपी अशोक कुमार ने मीटिंग में आये दिल्ली, राजस्थान, हरियाणा, उत्तर प्रदेश,पंजाब, चंडीगढ़, जम्मू-कश्मीर, रेलवे सुरक्षा बल और NIA के साथ आईबी के अधिकारियों के साथ कुंभ को लेकर बाचतीत की.


कुंभ के आयोजन से जुड़ी चर्चा हुई


मीटिंग के बाद मीडिया से बातचीत के दौरान, डीजीपी अशोक कुमार का कहना है कि, महाकुंभ कुंभ 2021 के दृष्टिगत सभी बॉर्डर स्टेट से जो भी राज्य उत्तराखंड के सीमाओं से लगे हैं और जिनका महाकुंभ में महत्वपूर्ण रोल रहता है, उनके साथ कोर्डिनेशन मीटिंग शुक्रवार को हुआ है. इस मीटिंग में विस्तार से भीड़ प्रबंधन, यातायात प्रबंधन, डायवर्जन स्कीम और लॉ एंड ऑर्डर के साथ सोशल मीडिया में जो भी इशू हैं, सभी मुद्दों पर विस्तृत बातचीत हुई.


सरकार की गाइडलाइन का किया जाएगा पालन


साथ ही केंद्र सरकार की कोविड-19 को लेकर जो भी गाइडलाइन महाकुंभ को लेकर आई है उस पर भी विस्तार से बातचीत की गई. इस मीटिंग का उद्देश्य सभी राज्यों के साथ कुंभ के दौरान आपसी सामंजस्य बनाने को लेकर रहा है. महाकुंभ में जो भी गाइडलाइन केंद्र सरकार की राज्य सरकार को मिली है, इस गाइडलाइन के अनुसार सभी राज्यों को भेजा जाएगा और उसी के अनुसार महाकुंभ में भी श्रद्धालु आयेंगे.


तैयार किया जाएगा कॉमन कंट्रोल रूम


वहीं, डीजीपी अशोक कुमार का कहना है कि, सभी राज्यों के अधिकारियों के साथ एक कॉमन कंट्रोल रूम भी तैयार किया जाएगा. साथ ही कुछ कमेंट व्हाट्सएप ग्रुप भी बनेंगे जिसमें सभी राज्यों के अधिकारी मौजूद रहेंगे. वहीं, अगर महाकुंभ में भीड़ नियंत्रण के लिए डायवर्जन स्कीम का उपयोग करना पड़े तो जिन राज्यों में डायवर्जन स्कीम लागू होगी, उन इलाकों के सीसीटीवी कैमरा को कुंभ कंट्रोल रूम से जोड़ दिया जाएगा. वहीं, अन्य राज्यों से आने वाले श्रद्धालुओं को रजिस्ट्रेशन के साथ कोविड-19 रिपोर्ट भी अनिवार्य रूप से रखना पड़ेगा.


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