Prayagraj News: यूपी की राजधानी लखनऊ में दलित समुदाय के अमन गौतम की पुलिस कस्टडी में हुई मौत का चर्चित मामला मानवाधिकार आयोग तक पहुंच गया है. इस मामले में राष्ट्रीय और उत्तर प्रदेश राज्य मानवाधिकार आयोग में शिकायत दर्ज कराई गई है. राष्ट्रीय और राज्य दोनों ही मानवाधिकार आयोग ने इस मामले में की गई शिकायत के आधार पर केस रजिस्टर्ड कर लिया है. आयोग जल्द ही इस मामले में जांच के आदेश जारी कर सकता है. 


इस मामले में उच्च स्तरीय जांच कराए जाने की मांग को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट के अधिवक्ता और सोशल एक्टिविस्ट गजेंद्र सिंह यादव ने राष्ट्रीय और राज्य मानवाधिकार आयोग में ऑनलाइन शिकायत भेजी थी. दोनों ही आयोग ने पुलिस कस्टडी में मौत की शिकायत को अपने यहां रजिस्टर्ड करने के बाद इसकी सूचना शिकायतकर्ता अधिवक्ता गजेंद्र सिंह यादव को भेज दी है. 


गजेंद्र सिंह यादव पुलिस एनकाउंटर और पुलिस कस्टडी में होने वाली मौतों पर पीएचडी की हुई है. राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने अमन गौतम के मामले को अपने यहां केस नंबर 16983/IN/2024 और उत्तर प्रदेश राज्य मानवाधिकार आयोग ने  4625/IN/2024 पर दर्ज किया है.


मानवाधिकार आयोग पहुंचा मामला
अधिवक्ता गजेंद्र सिंह यादव की शिकायत में कहा गया है कि लखनऊ के विकास नगर इलाके के रहने वाले अमन गौतम को पुलिस अंबेडकर पार्क के अंदर से पकड़ कर ले गई थी. अमन और उसके दोस्त सोनू को पकड़ कर ले जाने का वीडियो सीसीटीवी में भी कैद है. सीसीटीवी में यह भी नजर आ रहा है कि पुलिस जब दोनों को पकड़ कर ले जा रहे थे तो अमन की पत्नी और परिवार के दूसरे सदस्य पीछे रोते हुए चल रहे थे. 


परिवार वालों का साफ आरोप है कि अमन की मौत पुलिस की पिटाई से हुई है. अधिवक्ता गजेंद्र सिंह यादव ने इस मामले में राष्ट्रीय और राज्य मानवाधिकार आयोग से दखल दिए जाने और मामले की उच्च स्तरीय जांच कराकर दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किए जाने और साथ ही कड़ी कार्रवाई किए जाने की भी मांग की है. 


पुलिस कस्टडी में दलित युवक की मौत
गौरतलब है कि पुलिस कस्टडी में दलित समुदाय के अमन गौतम की मौत के बाद शनिवार रात लखनऊ में जमकर हंगामा हुआ था. मामले के मुताबिक लखनऊ पुलिस को शुक्रवार की रात को यह जानकारी मिली थी कि अंबेडकर पार्क के अंदर कुछ लोग जुआ खेल रहे हैं. पुलिस ने वहां छापेमारी कर अमन गौतम समेत कुछ लोगों को हिरासत में दिया था. शनिवार को तबीयत बिगड़ने पर अमन को अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था. 


इस मामले में परिवार के लोग जहां पुलिस पर पिटाई कर हत्या का आरोप लगा रहे हैं, वहीं पुलिस का दावा है कि अमन की तबीयत अचानक बिगड़ गई थी. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में भी हार्ट अटैक होने की बात सामने आई है. उम्मीद जताई जा रही है कि मानवाधिकार आयोग इस मामले में लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट से जवाब तलब कर सकता है. हालांकि इस चर्चित मामले में कुछ पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई भी की गई है.


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