Floods in Raebareli: रायबरेली में गंगा ने धारण किया रौद्र रूप, तराई बेल्ट की फसलें बाढ़ की भेंट चढ़ीं
पानी बढ़ने की रफ्तार इतनी तेज है कि कुछ किसान अपनी झोपडियों में सुबह पहुंच तो गए लेकिन घंटे दो घंटे बाद ही उनका वहां से निकल पाना मुमकिन नही हो पाया.
नई दिल्ली: रायबरेली में गंगा नदी रौद्र रूप धारण करती जा रही है. यहां के डलमऊ इलाके में तराई बेल्ट की फसलें बाढ़ की भेंट चढ़ चुकी हैं. आसपास के ग्रामीण भी बाढ़ के चलते बेघर होकर स्कूलों और पंचायत घरो में रहने को मजबूर हैं. दो दिन पहले गंगा का जलस्तर अचानक बढ़ना शुरू हुआ और बीती रात से इसमें तेज़ी आ गई. सुबह लोग खेतों पर सब्ज़ियां तोड़ने पहुंचे तो वहां खेत पूरी तरह जलमग्न थे और झोपडियां तेज़ धार में बह चुकी थीं. कुछ इक्का दुक्का झोपडियां बची हैं लेकिन उनके चारों तरफ जल ही जल है. जबकि गंगा तट पर बने गेगासों घाट के शमशान और तक दो दिन पहले ही पानी पहुंच चुका था. डलमऊ क्षेत्र के जमालनगर सहित दर्जनों गांव बाढ़ की चपेट में आ चुके है.
डलमऊ इलाके के जमालनगर, मोहिद्दीपुर और चक मालिक भीटी गांव से लगे 8 पुरवा के बारह सौ से ज़्यादा की आबादी बाढ़ से प्रभावित हुई है. यहां सैकड़ों बीघा प्याज़,परवल,धान और दूसरी सब्ज़ियों की फसल पानी की भेंट चढ़ गई है. पानी बढ़ने की रफ्तार इतनी तेज है कि कुछ किसान अपनी झोपडियों में सुबह पहुंच तो गए लेकिन घंटे दो घंटे बाद ही उनका वहां से निकल पाना मुमकिन नही हो पाया.
उधर ज़िला प्रशासन दो दिन पहले से बाढ़ की निगरानी कर रहा है. ग्रामीणों और इलाके के प्रधानों की मानें तो प्रशासनिक तौर पर उनकी सुध लेने वाला कोई नहीं है. उधर सैकड़ों की तादाद में मवेशी भी बाढ़ से प्रभावित हैं. खास बात यह कि बाढ़ के पानी में मगरमच्छ और सांप की वजह से ग्रामीणों को अब जान का खतरा सताने लगा है.
पहाड़ों पर बारिश के बाद जनपद से गुजरने वाली गंगा नदी व सई नदी दोनों अपने उफान पर पहुंच रही हैं. आसपास के इलाके जलमग्न हो रहे हैं. पुलिस प्रशासन पूरी तरह अलर्ट मोड में आ चुका है. लगभग एक दर्जन गांव बाढ़ की चपेट में आ चुके हैं. बाढ़ के पानी में जलीय जानवर भी आने लगे हैं जिससे ग्रामीणों में भय व्याप्त हो रहा है. हालांकि अभी विशेष कोई मदद नहीं मिल पाई है लेकिन जिले का प्रशासनिक अमला पूरी तरह अलर्ट मोड में आ चुका है. जिलाधिकारी वैभव श्रीवास्तव व उप जिलाधिकारी अंशिका दीक्षित सहित अन्य प्रशासनिक अधिकारी बाढ़ क्षेत्र का दौरा कर मातहतों को संबंधित दिशा निर्देश दिये है.
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