सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत के खिलाफ हुई नारेबाजी, वाहन दुर्घटना में हताहत हुए बच्चों के परिजनों जताई नाराजगी
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को उस वक्त लोगों के गुस्से का सामना करना पड़ा जब वो कंगसाली गांव में बच्चों को श्रद्धांजलि देने तथा उनके परिजन से मिलने पहुंचे थे।
नई टिहरी, एजेंसी। टिहरी जिले में कंगसाली गांव में पांच दिन पूर्व स्कूल वाहन दुर्घटना में मारे गये बच्चों को श्रद्धांजलि देने तथा उनके परिजन से मिलने पहुंचे उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को रविवार को ग्रामीणों का गुस्सा झेलना पड़ा। मुख्यमंत्री रावत ने एक-एक लाख रुपए का चेक बच्चों के परिजन को दिए लेकिन परिजनों ने चेक लेने से इन्कार कर दिया। गुस्साए परिजनों ने अपनी मांगों को लेकर एक छह सूत्रीय ज्ञापन मुख्यमंत्री को सौंपा।
ज्ञापन पर मुख्यमंत्री ने गौर नहीं किया जिसके बाद ग्रामीण आक्रोशित हो गये और उन्होंने मुख्यमंत्री के खिलाफ नारे लगाये। इसके बाद देहरादून से कंगसाली गांव पहुंचे रावत केवल आधा घंटे में ही कार्यक्रम की इतिश्री कर वापस लौट गये। ग्रामीणों ने बताया कि वे अब 13 अगस्त को मुख्यमंत्री के खिलाफ विशाल प्रदर्शन और धरना करेंगे।
छह अगस्त को सुबह हुए इस दर्दनाक हादसे में स्कूली बच्चों से भरा वाहन खड्ड में गिरकर दुर्घटनाग्रस्त हो गया था जिसमें 10 बच्चों की मौत हो गयी तथा आठ अन्य घायल हो गये। प्रथम दृष्टया जांच में हादसे का कारण ओवरलोडिंग बताया जा रहा है जिसके बाद मुख्यमंत्री के निर्देश पर पुलिस, परिवहन और शिक्षा विभाग के चार अधिकारियों को निलंबित भी किया गया।
इससे पूर्व मुख्यमंत्री ने वाहन दुर्घटना को 'दुर्भाग्यपूर्ण' बताते हुए कहा था कि हादसे की खबर मिलते ही सरकार ने अधिकारियों को घायलों के त्वरित उपचार की व्यवस्था के निर्देश दिये तथा घायल बच्चों को शीघ्र अस्पताल पहुंचाने के लिये हेलीकॉप्टर की व्यवस्था की गयी। मुख्यमंत्री ने परिजनों को को आश्वस्त किया था कि दुर्घटना की जांच चल रही है और इसमें दोषी पाये जाने वालों के विरुद्ध नियमानुसार कड़ी कार्रवाई की जायेगी।