Kanpur News: कानपुर में 9 सरकारी कार्यालयों पर करोड़ों का बिजली बिल बकाया, डीएम ऑफिस से लेकर पार्क तक शामिल
Kanpur Dehat Electricity Bill: विधुत विभाग के अधिकारी ने बताया कि मार्च के महीने में इन सभी कार्यालयों का भुगतान किया गया था लेकिन तकनीक खराबी के चलते बिजली के बिल का भुगतान नहीं हो पाया है.
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Kanpur News: कानपुर देहात (Kanpur Dehat) में 9 ऐसे सरकारी कार्यालय हैं जिन पर करीब करोड़ों का बिजली बिल बकाया है और ऐसे कार्यालय बदस्तूर बिजली का उपयोग कर रहे है. इन पर न तो कोई कार्रवाई होती है और न ही इनसे कोई रिकवरी की जाती है. यहां तक कि इन लोगों के बिजली का कनेक्शन भी नहीं काटा गया है. इन विभागों और कार्यालयों में जिले के आलाधिकारी कार्यरत रहते है. विधुत विभाग के अधिकारी ने बताया कि मार्च के महीने में इन सभी कार्यालयों का भुगतान किया गया था लेकिन तकनीक खराबी के चलते बिजली के बिल का भुगतान नहीं हो पाया है.
इन कार्यालयों पर इतना बिल बकाया
सबसे पहले बात करते हैं कानपुर देहात के माती मुख्यालय की, यहां पर जिलाधिकारी कार्यालय की व्यवस्थाएं चाक चौबंद है और कमरे को वातानुकूलित करने के लिए एसी, हवा खाने के लिए पंखे और बिजली से रौशन कमरे हैं, लेकिन इस विभाग का बिजली का बिल 6,98,692 रूपए बकाया है. दूसरा कार्यालय पुलिस अधीक्षक कार्यालय है जिनका 4,46,931 रुपए का बिजली बिल बकाया है और तीसरा कार्यालय मुख्य चिकित्सा अधिकारी का कार्यालय है जो इस बकाया बिल की दौड़ में शामिल है. जिन पर 7,16,894 रुपए बकाया हैं. वहीं जिला कारागार पर विद्युत विभाग के 55,49,218 रुपए का बिल बकाया है. साथ ही मुख्य विकास भवन जो विकास के लिए करोड़ों रुपए बहाने का दावा करता नजर आ रहा है वो भी 9,89,802 रुपए का बिजली का बिल जमा करने में असमर्थ है.
सरकारी अस्पताल से लेकर पार्क तक हैं शामिल
इसी के साथ इको पार्क की सुंदरता के लिए जो लाइटें जलाई जाती हैं वहां पर 8,41,710 रुपए का बिल बकाया है और इसकी जिम्मेदारी मुख्य विकास भवन के अधीन ही आती है. वहीं अगर बात करें तो जिले में पुलिस कर्मियों के रहने के लिए बनाई गई पुलिस लाइन की तो यहां हजारों पुलिस कर्मियों के आवास बने है लेकिन यह रहने वाले पुलिस कर्मियों के आवासों में बिजली के कनेक्शन का 89,63,538 रुपए का बिल सिर्फ पुलिस लाइन पर बाकी है. अब बारी है जिले के सबसे बड़े बिल की, जो कि कानपुर देहात के सरकारी जिला अस्पताल का बिल है. यहां 1,26,44,744 रुपए का बिल बकाया है.
विधुत विभाग के अधिकारी ने बताया कि मार्च के महीने में इन सभी कार्यालयों का भुगतान किया गया था लेकिन तकनीक खराबी के चलते बिजली के बिल का भुगतान नहीं हो पाया है. जहां एक ओर आम उपभोक्ता के द्वारा बिल जमा अवधि के 15 दिन के भीतर अगर भुगतान न किया जाए तो अस्थाई रूप से कनेक्शन काट दिया जाता है, लेकिन जिले के ये बड़े कार्यालय और विभाग में अपने ही नियमों को ताख पर रख काम करने को ये विभाग क्यों मजबूर है क्या अधिकारियों से वसूली कर पाने में विभाग असमर्थ है.
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