Kanpur News: सरकारी डॉक्टर का प्राइवेट प्रैक्टिस करते हुए वीडियो हुआ वायरल, सीएम से की गई शिकायत
UP News: कानपुर में उर्सला अस्पताल के आईसीयू इंचार्ज का एक वीडियो तीमारदार ने बनाकर वायरल कर दिया है. जो सरकार की मंशा को बट्टा लगाने वाला दिखता है.

UP Government Hospital News: उत्तर प्रदेश सरकार की मंशा है कि स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर किया जाए. जो संसाधन उपलब्ध है उनका बेहतर इस्तेमाल करते हुए सभी मरीजों को चिकित्सा सुविधा प्रदान की जाए लेकिन गाहे-बगाहे यह सरकारी सिस्टम स्वास्थ्य सुधारने के मामले में लाचार है. सरकारी डॉक्टर सरकार से तनखाह लेने के बावजूद निजी क्लीनिक चलाकर माला-माल हो रहे हैं और अस्पताल आने वाले मरीज इलाज से महरूम होकर मौत के मुह में समा जा रहे हैं.
ऐसे में कानपुर में उर्सला अस्पताल के आईसीयू इंचार्ज का एक वीडियो तीमारदार ने बनाकर वायरल कर दिया है. जो सरकार की मंशा को बट्टा लगाने वाला दिखता है. वीडियो की शहर भर में खूब चर्चा हो रही है.
विडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा
सरकारी अस्पतालों में आने वाले मरीजों का क्या हाल होता है यह किसी से छिपा नहीं है. इलाज के अभाव में मरीज दम तोड़ देते हैं. आए दिन परेशान हाल तीमारदार डॉक्टर वार्ड बॉय और वहां के स्टाफ से उलझते दिखते हैं. कानपुर शहर के जिला अस्पताल उर्सला की एक तस्वीर सामने आई है जिसे खुद मरीज के तीमारदार ने बनाया है. दरअसल उर्सला अस्पताल के आईसीयू इंचार्ज डॉ सपन गुप्ता पर आईसीयू में आने वाले रोगियों के शोषण की बातें निकल कर सामने आती रही हैं लेकिन इस बार तीमारदार ने उनका एक वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया है.
डॉ सपन गुप्ता इसमें बेकन गंज इलाके में एक निजी क्लीनिक को संचालित करते हुए दिख रहे हैं. जहां मरीजों की अच्छी खासी संख्या में भीड़ नजर आ रही है. दरअसल उर्सला अस्पताल के आईसीयू में भर्ती रही आयशा बेगम के तीमारदार अख्तर का कहना है कि डॉक्टर गुप्ता ने उनके मरीज के लिए एक भी दवा सरकारी अस्पताल से मुहैया नहीं कराई.
पर्चे पर महंगी दवाइंयां लिखी गई
इसके साथ ही उनको सभी दवाइयां अस्पताल के बाहर स्थित दो मेडिकल स्टोर से खरीदनी पड़ी. जिन दवाइयों को पर्चे पर लिखा गया वह बहुत महंगी थी. जबकि दूसरी कंपनी की वही दवाइयां बिरहाना रोड से लाने पर काफी सस्ती मिली. बावजूद इसके वार्ड बॉय और आईसीयू इंचार्ज ने उन्हें उन दवाइयों के इस्तेमाल से रोक दिया. तीमारदार का कहना है कि ऐसा कमीशन बाजी के खेल के चलते हुआ.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को लिखित शिकायत की गई
आईसीयू इंचार्ज डॉ सपन गुप्ता पर लगे आरोपों के बाद पीड़ित तीमारदार, महानगर विकास समिति के प्रमुख और बीजेपी श्रम प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक भूपेश अवस्थी से मिला और उनसे इस बाबत शिकायत की. जिसके बाद भूपेश अवस्थी ने इस मामले को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सामने उठा दिया है. भूपेश अवस्थी ने बाकायदा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को एक पत्र लिखा है जिसमें डॉक्टर पर काफी गंभीर आरोप लगाए गए हैं. डॉक्टर पर सरकारी अस्पताल में आने वाले मरीजों के शोषण आईसीयू इंचार्ज पद पर काबिज होने की उनकी काबिलियत पर भी सवाल उठाए गए हैं.
मुख्यमंत्री से हुई इस शिकायत के बाबत यूएचएम अस्पताल के डायरेक्टर का कहना है कि अगर कोई सरकारी डॉक्टर प्राइवेट प्रैक्टिस करता है तो यह गलत है. अगर ऐसा करता हुआ उनका कोई डॉक्टर पाया जाता है तो उसके खिलाफ वह सख्त से सख्त कार्रवाई करेंगे क्योंकि यह सर्विस रूल कंडक्ट के खिलाफ है.
आरोपी डॉक्टर कुछ बोल नहीं पाए
वही जब मुख्यमंत्री से हुई इस शिकायत और वायरल वीडियो के बारे में डॉक्टर सपन गुप्ता से बातचीत की तो वह इस मामले में हतप्रभ दिखे. अपनी शिकायत पर उन्होंने कहा कि वो प्राइवेट प्रैक्टिस नहीं करते हैं लेकिन वीडियो दिखाने पर वह कुछ भी नहीं बोल पाए.
उत्तर प्रदेश सरकार की मंशा साफ है कि जो भी मरीज सरकारी अस्पतालों में पहुंचे उसे बेहतर इलाज मुहैया कराया जाए. साथ ही जहां से भी हो उन्हें दवाई अस्पतालों में ही निःशुल्क उपलब्ध कराई जाए. आईसीयू इंचार्ज डॉ सपन गुप्ता पर लगे आरोपों के बाद और वायरल वीडियो को देखने के बाद सरकार की मंशा पर बट्टा लगता दिखता है.
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस

