कानपुर: कोरोना काल ने स्वास्थ्य विभाग की कलई खोलकर रख दी है. कभी एशिया में अपने इलाज के लिए प्रसिद्ध हैलट अस्पताल आज अपने कारनामों के लिए कुख्यात हो गया है. कोरोना की दूसरी लहर में हैलट अस्पताल में मौतों की आंकड़ेबाजी के संगीन आरोप लगे. अब एकबार फिर एबीपी गंगा के हाथ वो दस्तावेज लगे हैं जो चौंकाने वाले हैं. हैलट अस्पताल में मौतों का ऑडिट अभी भी जारी है.
सामने आ रही है मौतों को छिपाने की काली करतूत
जो दस्तावेज हमारे हाथ लगे हैं उसमें मौतों का जो नया आंकड़ा सामने आया है, वो चौंकाने वाला है. हैलट पर आरोप लगा है कि, मरीजों की मौतों को हैलट प्रशासन ने एक बार फिर छिपाया है. जो दस्तावेज हमको मिले हैं, उसके मुताबिक 261 मरीज़ो की मौतों को अबतक पोर्टल में अपडेट नहीं किया गया है. इतना ही नहीं इनमें एक मौत ऐसी भी है, जिसे पिछले साल अगस्त से अब तक छिपाये रखी गयी है. अब हैलट में हुई असल मौतों का अंदाज़ा लगाना मुश्किल होता जा रहा है.
इससे पहले 160 मौतों को छिपाए जाने का सच एबीपी गंगा आपके सामने लाया था. एक बार फिर से यह साबित हुआ है कि, कोरोना से मौतों के आंकड़ों पर पर्दा डालने का काम अभी तक बदस्तूर जारी.
मौत का आंकड़ा पोर्टल पर अबतक अपडेट नहीं
पिछले दिनों किये गए हमारे खुलासे के बाद हैलट अस्पताल में 160 मौतों को पोर्टल में अभी अपडेट करने का काम चल ही रहा है कि अचानक छुपी हुई 261 नई और मौतें सामने आ गयी हैं. अब हैलट प्रशासन को 261 पुरानी मौतों को नए सिरे से पोर्टल में अपडेट करना होगा. इस संदर्भ में हमको एक बार फिर से एक पीडीएफ फ़ाइल हाथ लगी है, जिसमे 261 मौतों का विवरण दिया गया है. इस पीडीएफ फ़ाइल में मरीजों के नाम डेट और इलाज करने वाले डाक्टर के नाम दिये गये हैं. जीएसवीएम प्रशासन को इन मौतों को अपडेट करने के लिए कहा गया है. इस बीच जब हमने मेडिकल कॉलेज से बात की तो उनका वही रटा रटाया जवाब सामने आया.
अभी कोरोना की दूसरी लहर में हुई मौत के नंगनाच को भूलने की कोशिश हो रही है. लेकिन हैलट में हुई मौतों की संख्या लगातार बढ़ती ही जा रही है. यहां कोरोना मरीजों की संख्या लगभग न के बराबर है. लेकिन अस्पताल में मौतों की संख्या हर रोज ऑडिट करने के चक्कर में बढ़ी हुई दिखाई जाती है. अब ऐसे में 261 नयी मौतों को पोर्टल में एडजस्ट करने में हैलट प्रशासन को काफी मशक्कत करनी पड़ेगी.
अगस्त में हुई मौत का रिकॉर्ड अबतक नहीं चढ़ा
डेथ पोर्टल पर 261 मौतों के आंकड़े अभी जारी नहीं किए गए हैं. इन आंकड़ों पर अगर गौर करें तो एक मौत 31 अगस्त 2020 की है. इसमें 60 वर्षीय माया गुप्ता का इलाज डॉक्टर अर्पण गुप्ता कर रही थी. इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई थी. माया कोविड-19 पेशेंट थीं. इनकी मौत को आज तक हैलट के पोर्टल पर अपडेट नहीं किया गया. इसी तरह जनवरी 2021 में 82 वर्षीय रामआसरे और 85 वर्षीय रामदत्त दोनों की मौत कोरोना से हुई थी. इनकी मौत भी पोर्टल पर नहीं आई है. अब हम बात अप्रैल और मई महीने की करें तो अप्रैल में मृतकों की संख्या 144 ऐसी है, जिसको अभी तक हैलट प्रशासन ने पोर्टल पर नहीं चढ़ाया है. इसी तरह मई की 110 मौतों को डेथ पोर्टल पर चढ़ाये जाने का इंतजार है.
मौतों की संख्या
अगस्त 2020 एक मौत
जनवरी 2021 दो मौत
2021 अप्रैल 144 मौत
2021 मई 110 मौत
कुल- 261 मौत
डेथ सर्टिफिकेट तक नहीं मिल पा रहे हैं
जब कोरोना अपने चरम पर था तो हैलट अस्पताल होने वाली हर मौत पर पर्दा डालने का काम कर रहा था. जिन डाक्टर्स की जिमेदारी में मरीजों का इलाज चल रहा था. वह मरीजों की मौत को छुपाने में लगे थे. कोरोना में इलाज के दौरान जान गंवाने वाले मरीजों को अभी तक पोर्टल में दर्ज नहीं किये जाने से परिजनों को डेथ सर्टिफिकेट नहीं मिल पा रहे हैं. जबकि कुछ ऐसे भी हैं, जिनके अपने हैलट में इलाज के दौरान नहीं रहे. उनको कोरोना पॉजिटिव की रिपोर्ट तक नहीं मिली.
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