Kanpur Voilence Case: कानपुर हिंसा मामले में बिल्डर हाजी वसी की भूमिका संदिग्ध पाए जाने के एक महीने बाद भी पुलिस उसे पकड़ नहीं पाई है. परिवार वालों पर दबाव बनाते हुए वसी के बेटे अब्दुल रहमान को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया गया है. लेकिन मुख्य फाइनेंसर कहां हैं यह किसी को नहीं मालूम इसके चलते कानपुर पुलिस पर सवाल उठ खड़े हुए हैं.


3 जून को हुई थी हिंसा
दरअसल 3 जून को जुमे की नमाज के बाद कानपुर शहर की नई सड़क में जमकर बवाल हुआ था. इस दिन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, पीएम नरेंद्र मोदी, राज्यपाल आनंदी बेन पटेल और सीएम योगी आदित्यनाथ कानपुर में ही थे. पत्थरबाजी, फायरिंग और बमबाजी के बीच शहर के माहौल को बिगाड़ने की पूरी साजिश रची गई थी. दिन बढ़ते गए और एक-एक कर मास्टरमाइंड हयात जफर हाशमी से लेकर 59 लोग गिरफ्तार कर लिए गए, जिनमें कई सफेदपोश भी बेनकाब हुए. 


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बिल्डर हाजी वसी फरार
बाबा बिरयानी के शौकीनों को उस वक़्त झटका लगा जब हिंसा भड़काने और साज़िश रचने के मामले में इसके मालिक हाजी मुख्तार अहमद उर्फ मुख्तार बाबा का नाम सामने आया. और इसीके साथ एक और नाम सामने आया विवादित बिल्डर हाजी वसी का. हिंसा मामले में नाम सामने आने के बाद वसी ने बचने की तमाम कोशिश की लेकिन जब बचने का कोई रास्ता नहीं दिख तो वो फरार हो गए. हिंसा को एक महीना हो चुका है, लेकिन हाजी वसी कहां है कुछ नहीं पता. कानपुर पुलिस हाथ-पैर मार रही है लेकिन अभी तक उसके हाथ खाली हैं.


हिंसा मामले में 55 नामजद
कानपुर नई सड़क उपद्रव के मुख्य साजिशकर्ताओं में शामिल बिल्डर हाजी वसी के बेटे अब्दुल रहमान को गिरफ्तार कर लिया गया है. पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश करके जेल भेज दिया है. अब्दुल रहमान पर भी साजिश में शामिल होने का आरोप है. पुलिस ने इस मामले में 55 नामजद, एक हजार अज्ञात के खिलाफ मुकदमे दर्ज किए हैं. पुलिस ने जांच के बाद बाजार बंदी का आह्वान करने वाले एमएमए जौहर फैन्स एसोसिएशन के अध्यक्ष हयात जफर हाशमी और उसके पांच प्रमुख साथियों और बाबा बिरयानी के मालिक मुख्तार बाबा समेत अब तक 60 लोगों को जेल भेज चुकी है. हयात और मुख्तार बाबा के अलावा इस मामले में तीसरा बड़ा साजिशकर्ता बिल्डर हाजी वसी है. 


परिवार के लोग भी शामिल
पुलिस की माने तो इस मामले में जांच के दौरान सामने आया है कि साजिश का ताना बना बुनने में हाजी वसी के अलावा उसके परिवार के लोग भी शामिल थे. बेटे और अन्य रिश्तेदारों ने भी इसमें साथ दिया था. इसके आधार पर ही पुलिस ने वसी के बेटे अब्दुल रहमान को गिरफ्तार कर लिया. उससे कुछ दिनों पहले भी हिरासत में लेकर पूछताछ की गई थी. अदालत में पेश करने के बाद रविवार की शाम उसे गुपचुप तरीके से पुलिस ने जेल भेज दिया. माना जा रहा है कि इसी सूचना के बाद दबाव बनाने की रणनीति के तहत पुलिस ने वसी के बेटे को गिरफ्तार किया है. हालांकि वसी की गिरफ्तारी के लिए तीन टीमों को कानपुर से रवाना किया गया है.


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