उत्तर प्रदेश में शिक्षक भर्ती की मेरिट लिस्ट इलाहाबाद हाईकोर्ट द्वारा रद्द किए जाने के फैसले के बाद बीजेपी और समाजवादी पार्टी के बीच जुबानी जंग जारी है. अब यह सुबानी जंग डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य और समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव के बीच जारी है.
केशव प्रसाद मौर्य ने अब अखिलेश यादव के बयान पर जवाब दिया है, उन्होंने कहा, 'सपा बहादुर कांग्रेस मोहरा अखिलेश यादव का PDA बहुत बड़ा धोखा है. झूठ बोलने की आटोमैटिक मशीन बनी सपा लोकसभा चुनाव में जैसे संविधान ख़त्म हो जाएगा का दुष्प्रचार किया, उसी प्रकार PDA का झूठ फैला रहे हैं. भाजपा ही वर्तमान भाजपा ही भविष्य, 2027 में 2017 दोहरायेंगे.'
सपा प्रमुख का जवाब
इससे पहले अखिलेश यादव ने कहा, 'दर्द देनेवाले, दवा देने का दावा न करें! 69000 शिक्षक भर्ती मामले में उत्तर प्रदेश के एक ‘कृपा-प्राप्त उप मुख्यमंत्री जी’ का बयान भी साज़िशाना है. पहले तो आरक्षण की हक़मारी में ख़ुद भी सरकार के साथ संलिप्त रहे और जब युवाओं ने उन्हीं के ख़िलाफ़ लड़कर, लंबे संघर्ष के बाद इंसाफ़ पाया, तो अपने को हमदर्द साबित करने के लिए आगे आकर खड़े हो गये.'
सपा प्रमुख ने आगे लिखा, 'दरअसल ये ‘कृपा-प्राप्त उप मुख्यमंत्री जी’ शिक्षक भर्ती के अभ्यर्थियों के साथ नहीं हैं, वो तो ऐसा करके भाजपा के अंदर अपनी राजनीतिक गोटी खेल रहे हैं. वो इस मामले में अप्रत्यक्ष रूप से जिनके ऊपर उँगली उठा रहे हैं, वो ‘माननीय’ भी अंदरूनी राजनीति के इस खेल को समझ रहे हैं. शिक्षा और युवाओं को भाजपा अपनी आपसी लड़ाई और नकारात्मक राजनीति से दूर ही रखे क्योंकि भाजपा की ऐसी ही सत्ता लोलुप सियासत से उप्र कई साल पीछे चला गया है.'
जबकि इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले पर डिप्टी सीएम ने कहा था, 'सपा बहादुर कांग्रेस मोहरा अखिलेश यादव का PDA बहुत बड़ा धोखा है. झूठ बोलने की आटोमैटिक मशीन बनी सपा लोकसभा चुनाव में जैसे संविधान खत्म हो जाएगा का दुष्प्रचार किया, उसी प्रकार PDA का झूठ फैला रहे हैं. भाजपा ही वर्तमान भाजपा ही भविष्य, 2027 में 2017 दोहरायेंगे.'