नयी दिल्ली/लखनऊ. कांग्रेस में नेतृत्व परिवर्तन की मांग को लेकर लिखी गई चिट्ठी पर विवाद अभी थम नहीं रहा है. इसी कड़ी में उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले की पार्टी इकाई ने कांग्रेस कार्यसमिति (सीडब्ल्यूसी) के विशेष आमंत्रित सदस्य जितिन प्रसाद के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए एक प्रस्ताव पारित कर दिया. इस प्रस्ताव के बाद कांग्रेस के बड़े नेता जितिन प्रसाद के समर्थन में आ गए हैं. कांग्रेस के कद्दावर नेता कपिल सिब्बल ने अपनी ही पार्टी कांग्रेस को नसीहत भी दी है.


"बीजेपी पर सर्जिकल स्ट्राइक करे कांग्रेस"
कपिल सिब्बल ने साफ कहा कि जितिन प्रसाद को ‘आधिकारिक तौर पर निशाना बनाया जाना’ दुर्भाग्यपूर्ण है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस को अपने लोगों के बजाय बीजेपी पर ‘सर्जिकल स्ट्राइक’ करनी चाहिए. पार्टी प्रवक्ता मनीष तिवारी ने भी सिब्बल की इस बात का अप्रत्यक्ष रूप से समर्थन किया.


लखीमपुर खीरी इकाई ने की कार्रवाई की मांग
कांग्रेस कार्य समिति की बैठक में इस चिट्ठी को लेकर हंगामा होने के दो दिन बाद बुधवार को पार्टी की लखीमपुर खीरी इकाई ने एक आपात बैठक बुलाई. इस बैठक में जितिन प्रसाद के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की मांग करते हुए प्रस्ताव पारित किया. पार्टी के जिलाध्यक्ष प्रह्लाद पटेल ने बताया कि इस चिट्ठी पर हस्ताक्षर करने वाले नेताओं की इस प्रस्ताव में आलोचना की गई है, लेकिन इसमें प्रसाद को विशेष रूप से निशाना बनाया गया है. दरअसल, चिट्ठी को कांग्रेस में कई लोग सोनिया के नेतृत्व को चुनौती के रूप में देख रहे हैं.


"यूपी से सिर्फ जितिन प्रसाद ने किए हस्ताक्षर"
पटेल के अनुसार प्रस्ताव में कहा गया है, ‘‘उत्तर प्रदेश से चिट्ठी पर केवल पूर्व केन्द्रीय मंत्री जितिन प्रसाद ने हस्ताक्षर किये हैं. उनका पारिवारिक इतिहास गांधी परिवार के खिलाफ रहा है और उनके पिता जितेन्द्र प्रसाद भी सोनिया गांधी के खिलाफ चुनाव लड़े थे. उसके बावजूद सोनिया गांधी ने जितिन प्रसाद को टिकट दिया, उन्हें सांसद और मंत्री बनाया.’’ प्रस्ताव के अनुसार, जितिन प्रसाद द्वारा किया गया कृत्य घोर अनुशासनहीनता है और जिला और शहर कांग्रेस इकाइयों का मानना है कि उनके खिलाफ कड़ी अनुशासनात्मक कार्रवाई होनी चाहिए .


प्रस्ताव में कहा गया है, ‘‘सोनिया गांधी पार्टी ही एकमात्र सर्वमान्य नेता हैं . राहुल गांधी और प्रियंका गांधी पर हम पूर्ण विश्वास रखते हैं . यदि परिवर्तन होता है तो राहुल गांधी को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया जाना चाहिए."


"पार्टी नेतृत्व के खिलाफ है चिट्ठी"
जिला इकाई ने इस चिट्ठी को पार्टी के नेतृत्व के खिलाफ करार देते हुए कहा कि यह संकेत देता है कि इस पर हस्ताक्षर करने वालों का सोनिया गांधी और कांग्रेस में विश्वास नहीं है. जिला इकाई ने उन पर भाजपा की तरफ से काम करने का आरोप लगाया.


चिट्ठी लिखने वाले 23 नेताओं में कपिल सिब्बल, मनीष तिवारी और जितिन प्रसाद
बतादें कि कपिल सिब्बल, मनीष तिवारी और जितन प्रसाद उन 23 नेताओं में शामिल हैं जिन्होंने कांग्रेस के संगठन में व्यापक बदलाव, सामूहिक नेतृत्व और पूर्णकालिक अध्यक्ष की मांग को लेकर हाल ही में सोनिया गांधी को पत्र लिखा था. इसको लेकर बड़ा विवाद खड़ा हुआ.
दिल्ली में कार्य समिति की बैठक होने से एक दिन पहले उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू और प्रदेश कांग्रेस के अन्य वरिष्ठ नेताओं ने एक बयान जारी कर कहा था कि इस चिट्ठी के पीछे जो लोग भी हैं, वे पार्टी कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों के विचारों का प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं.


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