Lok Sabha Election 2024: उत्तराखंड में कांग्रेस ही दे सकती है बीजेपी को टक्कर, सपा भी कर रही इन सीटों पर दावेदारी पेश!
Uttarakhand Lok Sabha Chunav 2024: उत्तराखंड में मजबूत विपक्ष के रूप में कांग्रेस के अलावा दूसरा विकल्प नजर नहीं आता है. ऐसे में इंडिया गठबंधन में सीटों के बंटवारे पर सबकी नजरें टिकी हैं.
Lok Sabha Election 2024: लोकसभा चुनाव बहुत नजदीक आ चुके हैं ऐसे में उत्तराखंड में सत्तारूढ़ पार्टी के मुकाबले खड़ा होने के लिए कांग्रेस इंडिया गठबंधन को और मजबूत करना चाहती है. राज्य बनने के बाद उत्तराखंड में अभी तक जितने भी लोकसभा के चुनाव हुए हैं बीजेपी और कांग्रेस ही आमने सामने रही हैं. 2004 में केवल एक बार ऐसा हुआ है कि लोकसभा चुनाव में सपा को उत्तराखंड में एक लोकसभा सीट मिली थी, नहीं तो कांग्रेस और बीजेपी के बीच ही मुकाबला ही रहा है. उसमें भी बीजेपी ज्यादा हावी रही है. पिछले 10 सालों से उत्तराखंड की सभी लोकसभा सीटों पर बीजेपी का कब्जा है.
इंडिया गठबंधन में उत्तराखंड में सीटों के बंटवारे को देखें तो अपने सहयोगी दलों के मुकाबले कांग्रेस उत्तराखंड में ज्यादा हावी है. हालांकि कांग्रेस के सहयोगी दल किसी भी हाल में चाहेंगे कि उत्तराखंड में उन्हें प्रतिनिधित्व करने का मौका मिले. समाजवादी पार्टी हरिद्वार सीट पर चुनाव लड़ना चाहती है जाए क्योंकि 2004 में सपा ने यहां से जीत दर्ज की थी. ऐसे में दोबारा से हरिद्वार सीट पर कब्जा करने के लिए सपा कांग्रेस के साथ गठबंधन के अनुसार इस सीट की मांग कर सकती है.
2014 और 2019 में बीजेपी ने किया था क्लीन स्वीप
कांग्रेस और इंडिया के लिए उत्तराखंड में किसी भी सीट पर जीत दर्ज करना किसी चुनौती से काम नहीं है. यहां लोकसभा की मात्र पांच सीटें हैं. उत्तराखंड ऐसे राज्यों में गिना जाता जहां भारतीय जनता पार्टी हमेशा से हावी रही है. पिछले दो लोकसभा चुनाव की बात करें तो 2014 और 2019 में भारतीय जनता पार्टी ने यहां पर क्लीन स्वीप किया था. वहीं 2009 में कांग्रेस ने पांचों सीटें जीती थीं. ऐसे में उत्तराखंड में कांग्रेस बनाम बीजेपी ही देखने को मिला.
बीजेपी को टक्कर दे सकती है सिर्फ कांग्रेस?
राज्य में कांग्रेस अपने जनाधार को वापस पाने के लिए तरस रही है. बावजूद इसके सच्चाई यही है कि कांग्रेस ही एकमात्र ऐसा दल है जो उत्तराखंड में बीजेपी को टक्कर दे सकता है. विपक्षी दलों की बात करें तो वह अभी तक उत्तराखंड में कोई सफलता नहीं प्राप्त कर सके हैं. उत्तराखंड बनने के बाद से लेकर आज तक समाजवादी पार्टी का एक भी विधायक उत्तराखंड में नहीं जीत पाया है.
सपा की नजरें दो सीटों पर
लोकसभा की बात करें तो मात्र 2004 में एक बार एक सीट पर सपा को जीत मिली थी. उसके बाद से आज तक उसे यहां कोई जीत नहीं मिली है. वहीं बसपा उत्तराखंड में कई बार अपने विधायकों को जिताने में कामयाब रही है, लेकिन यहा से आज तक उनका कोई भी लोकसभा सांसद नहीं बन पाया. उत्तराखंड में एकमात्र हरिद्वार ऐसी लोकसभा सीट है जहां पर बसपा और सपा दोनों ही अपनी दावेदारी पेश कर रही हैं. इसके अलावा उत्तराखंड में केवल कांग्रेस ही ऐसा दल है जो बीजेपी को कहीं टक्कर दे सकता है. ऐसे में मजबूत विपक्ष के रूप में सिर्फ कांग्रेस ही सामने आ रही है.
2004 में हरिद्वार सीट पर प्रदर्शन के आधार पर सपा इंडिया के सहयोगी दल के नाते दो सीटों पर अपना दावा ठोक सकती है. जिसमें हरिद्वार और नैनीताल लोकसभा सीट शामिल हैं. नैनीताल सपा प्रमुख अखिलेश यादव की ससुराल भी है. जिस नाते अखिलेश यादव को इस लोकसभा सीट से काफी उम्मीद है, लेकिन उत्तराखंड में सपा का प्रदर्शन काफी निराशाजनक रहा है. ऐसे में इंडिया गठबंधन अगर यह दोनों सीटें सपा को देता है तो यहां पर एक बार फिर से भारतीय जनता पार्टी काबिज हो सकती है.
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