UP News: लखनऊ की विशेष अदालत ने शस्त्र लाइसेंस से जुड़े एक मामले में माफिया मुख्तार अंसारी (Mukhtar Ansari) के बेटे और विधायक अब्बास अंसारी (Abbas Ansari) की संपत्ति कुर्क करने का सोमवार को आदेश दिया. विशेष अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ए के श्रीवास्तव की अदालत ने अभियोजन पक्ष की याचिका पर यह आदेश पारित किया. विशेष एमपी/एमएलए अदालत ने मामले की अगली सुनवाई 17 नवंबर को निर्धारित की है. अदालत ने इससे पहले 14 जुलाई को अब्बास अंसारी के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था. उसके बाद 11 अगस्त को उन्हें भगोड़ा घोषित कर दिया गया था.


क्या है मामला
अभियोजन पक्ष ने अदालत से कुर्की का आदेश जारी करने का आग्रह करते हुए कहा कि विवेचना अधिकारी के काफी प्रयास के बावजूद अभियुक्त का कुछ पता नहीं लग सका है, लिहाजा अदालत को उनकी संपत्ति कुर्क करने का आदेश जारी करना चाहिए. मऊ सदर सीट से सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के विधायक अब्बास अंसारी के खिलाफ दर्ज मामले में आरोप है कि उन्होंने लखनऊ से बंदूक का लाइसेंस हासिल किया था और बाद में उसे दिल्ली स्थानांतरित करा लिया था, जहां उन्होंने खुद को मशहूर निशानेबाज बताते हुए बदले हुए पते पर अनेक हथियार खरीदे थे.


Watch: उत्तराखंड की ACS होम राधा रतूड़ी बोलीं- 'यूपी पुलिस निर्दोष लोगों को पकड़ती है, फिर कहती है केस सुलझा लिया'


कोर्ट ने अगस्त में किया था भगोड़ा घोषित


गौरतलब है कि बीते अगस्त महीने में लखनऊ में एमपी-एमएलए कोर्ट ने माफिया मुख्तार अंसारी के विधायक बेटे अब्बास अंसारी को भगोड़ा घोषित कर दिया था. अब्बास अंसारी लंबे समय से फरार है और पुलिस अब तक उसे पकड़ नहीं पाई है. इससे पहले उसे भगोड़ा घोषित करने के लिए कोर्ट में अर्जी दी गई थी. अब्बास अंसारी की तलाश में लखनऊ कमिश्नरेट ने 84 पुलिसकर्मियों समेत कुल आठ टीमें लगाई गई थी.   


यूपी के कई जिलों में की गई थी छापेमारी
यूपी पुलिस दिल्ली, लखनऊ, जौनपुर, मिर्जापुर, गाजीपुर, मऊ समेत तमाम जगहों पर छापेमारी की थी. इसके अलावा पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जिलों में छापेमारी की, लेकिन अब्बास अंसारी कोई पता नहीं चल पाया. इस दौरान पुलिस ने अदालत में फरार घोषित करने के लिए अर्जी दी थी, जिसे कोर्ट ने अब मान लिया था.