UP politics News: बाहुबली और पूर्व सांसद अतीक अहमद (Atiq Ahmed) की पत्नी शाइस्ता परवीन (Shaista Parveen) असदुद्दीन की पार्टी एआईएमआईएम को छोड़कर बसपा (BSP) में शामिल हो गईं. शाइस्ता परवीर के साथ उनके तीन बेटों ने भी ली बीएसपी की सदस्यता ली है. प्रयागराज में आयोजित कार्यक्रम में बीएसपी नेताओं ने बाहुबली अतीक के परिवार को पार्टी में शामिल करने का ऐलान किया. यूपी निकाय चुनाव टलने की वजह से आज अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता परवीन को आधिकारिक तौर पर प्रयागराज (Prayagraj) सीट से मेयर का उम्मीदवार घोषित नहीं किया गया.  इसके बावजूद मंच से कई बार यह बात कही गई कि जब भी चुनाव होगा और शाइस्ता परवीन टिकट चाहेंगी तो पार्टी उन्हें ही उम्मीदवार बनाएगी.


बाहुबली अतीक अहमद (Atiq Ahmed) की पत्नी शाइस्ता परवीन ने भी अपने भाषण में कहा कि वह मेयर का चुनाव लड़ेंगे, लेकिन उनके परिवार के ज्यादातर पुरुष सदस्य जेल में हैं. परिवार के 13 बैंक खाते सीज हैं. ऐसे में उनके सामने आर्थिक संकट है और पार्टी कार्यकर्ताओं को ही उनका चुनाव लड़ना होगा. बाहुबली की पत्नी शाइस्ता परवीन ने बसपा में शामिल कराए जाने पर बसपा सुप्रीमो मायावती का आभार जताया. उन्होंने कहा कि बसपा अनुशासन की पार्टी है, इसलिए आज भी मजबूत है.


दलित और मुसलमानों करेंगे एकजुट 
इसके अलावा उन्होंने कहा कि मेरे शौहर निर्दलीय विधायक होते थे, लेकिन बाद में उनकी मुलायम सिंह से दोस्ती हो गई, इसलिए कभी अनुशासन नहीं सीख पाए.बीएसपी अनुशासन वाली पार्टी है, इसलिए अब यहां आकर हम लोग अनुशासन सीख सकेंगे. दलित और मुसलमान को इकट्ठा करने की राजनीति डॉ. फरीदी साहब ने शुरू की थी. बहन मायावती ने उसे आगे बढ़ाया और कई बार प्रदेश में सरकार बनाई. मेरे शौहर अतीक अहमद ने हमेशा बहुजन समाज को पसंद किया है. मेरे शौहर हमेशा बहुजन समाज पार्टी में जाना चाहते थे और हमेशा दलित भाइयों से प्यार कर रहे हैं, वह दलित भाइयों को सम्मान देते रहे हैं.


नसीमुद्दीन ने मेरे शौहर को बहन जी से रखा दूर 
नसीमुद्दीन जैसे बहुत से लोगों ने मेरे शौहर को बहन जी से दूर रखा लेकिन आज उनसे जुड़ने का मौका मिला है. यूपी के मुसलमानों की हालत बहुत खराब हो चुकी है. इन मुसलमानों को मैं बहुजन के झंडे के साथ लाऊंगी. उन्होंने कहा कि मुसलमानों का भी नशा उतर चुका है. अब वह संकट से बाहर निकलने का रास्ता ढूंढ रहे हैं. मुसलमान मजबूरी में समाजवादी पार्टी के साथ है. समाजवादी पार्टी ने मुसलमानों को गुमराह करने का काम किया है. दलित और मुस्लिम एक दूसरे के साथ हो जाएं तो पूरे हिंदुस्तान की तकदीर बदल सकती है. 


मेयर का चुनाव आप को ही लड़ना होगा 
बहन जी ने मुझे मेयर का चुनाव लड़ाने को कहा है. उन्होंने कहा कि मेरे मेयर बन जाने से कोई समस्या हल नहीं होगी. जब तक बहन जी मुख्यमंत्री न बन जाएं. मेरे दो बेटे और पति पूर्व सांसद जेल में हैं. मेरे देवर पूर्व विधायक अशरफ बरेली जेल में बंद हैं. कोई साथी नहीं है. आर्थिक स्थिति खराब हो चुकी है. 13 बैंक खाते सीज हैं. मुझे अगर पार्टी ने चुनाव लड़ा दिया तो खुद आप लोगों को प्रत्याशी की तरह चुनाव लड़ना पड़ेगा.अगर आपने मुझे मेयर बना दिया तो दलित और मुसलमान भाइयों को सम्मान मिलेगा.


योगी सरकार और बीजेपी पर नहीं बोला हमला 
पूरे मंडल में दलित भाइयों के साथ कहीं अत्याचार हुआ तो मेरे बेटे लाठी लेकर सबसे आगे खड़े रहेंगे.
बहुजन के भाइयों को आज सीना तानकर पटरी के बजाय सड़क पर चलना चाहिए. मैं कुछ कर सकूं, न कर सकूं, आपको इज्जत तो जरूर दिलाऊंगी.मायावती जी का भी शुक्रिया अदा करूंगी. शाइस्ता परवीन ने अपने भाषण में समाजवादी पार्टी पर तो निशाना साधा लेकिन यूपी की योगी सरकार पर चुप्पी साधे रही. सरकार और बीजेपी के खिलाफ उन्होंने एक भी शब्द नहीं बोला.


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