Gorakhpur News: उच्च शिक्षा के क्षेत्र में उन्नयन, शोध-असुंधान, नवाचार और उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय, गोरखपुर ने दक्षिण बिहार केंद्रीय विश्वविद्यालय (सीयूएसबी) के साथ समझौता करार (एमओयू) किया है. गुरुवार को इस एमओयू का आदान-प्रदान दक्षिण बिहार केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. केएन सिंह और महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय के कुलपति मेजर जनरल डॉ. अतुल वाजपेयी के मध्य हुआ. दोनों विश्वविद्यालयों ने उच्च शिक्षा के क्षेत्र में वर्तमान एवं भावी आश्वयकताओं के दृष्टिगत संयुक्त शोध परियोजनाओं छात्रों के अन्य कई गतिविधियों को आगे बढ़ाने के लिए किया है. 


एमओयू पर हस्ताक्षर करने के बाद प्रसन्नता व्यक्त करते हुए दक्षिण बिहार केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. केएन सिंह ने कहा कि सीयूएसबी और महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय ने मिलकर उच्च शिक्षा के संवर्धन के लिए एक नई शुरुआत की है. दोनों विश्वविद्यालय अकादमिक गुणवत्ता के लिए एक-दूसरे के साथ मिलकर शिक्षा के क्षेत्र में नए नवाचारों से नया अध्याय लिखेंगे.


क्या बोले कुलपति मेजर डॉ. अतुल वाजपेयी
एमओयू का स्वागत करते हुए महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय के कुलपति मेजर जनरल डॉ. अतुल वाजपेयी ने कहा कि शिवावतार गुरु गोरक्षनाथ की तपोस्थली पर स्थापित इस विश्वविद्यालय ने कम समय में ही विशिष्ट पहचान बना ली है. विश्वविद्यालय का सतत ध्यान शोध-अनुसंधान, नवाचार व उद्यमिता विकास पर है. उन्होंने कहा कि सीयूएसबी के साथ हुए एमओयू से शिक्षा, अनुसंधान और प्रशिक्षण की गतिविधियों को एक नई दिशा मिलेगी. 


क्या बोले कुलसचिव डॉ. प्रदीप कुमार
महायोगी गोरखनाथ विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ. प्रदीप कुमार राव ने कहा कि विश्वविद्यालय विद्यार्थियों के व्यक्तित्व विकास व उच्च शिक्षा में अनुसंधान की द्रष्टि विकसित करने के लिए संकल्पित है. आज के एमओयू से शिक्षा के क्षेत्र में नवाचारों के नए आयाम खुलेंगे. इस अवसर पर अधिष्ठाता कृषि संकाय डॉ. विमल कुमार दुबे, उपकुलसचिव प्रशासन श्रीकांत, गुरु श्री गोरक्षनाथ कॉलेज ऑफ नर्सिंग की प्राचार्या डॉ. डीएस अजीथा, आयुर्वेद संकाय के प्राचार्य डॉ. मंजूनाथ एनएस, फार्मेसी संकाय के प्राचार्य डॉ. शशिकांत सिंह, पैरामेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. रोहित श्रीवास्तव, डॉ. संदीप श्रीवास्तव आदि भी मौजूद रहे.


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