अयोध्या: अयोध्या कोतवाली नगर के बेनीगंज रेलवे क्रॉसिंग के पास एक युवक ने ट्रेन के सामने कूदकर जान दे दी. लेकिन मौत के पहले रेलवे ट्रैक पर ही रिकॉर्ड किए अपने अंतिम बयान में उसने जो कुछ भी कहा वह हिला देने वाला है. उसने सीधे तौर पर कहा कि वह अपने देश की कानून-व्यवस्था, भ्रष्टाचार और न्यायालय से जहां ईमानदार आदमी के लिए कोई कहीं न्याय नहीं है, मेरी मौत का सिर्फ जिम्मेदार देवकाली चौकी इंचार्ज और हेमंत सिपाही और कोतवाल है और मेरे पड़ोसी रामउजागिर मौर्य, रामू चाचा मेरे जो मेरे और मेरे परिवार के साथ बेईमानी किए हैं, मेरे पूरे परिवार के साथ पूरी बेईमानी की है. आज मैं मर रहा हूं तो इसकी वजह यही लोग हैं.


वीडियो में लगाए चाचा पर आरोप


दरअसल, अयोध्या नगर कोतवाली क्षेत्र के बछड़ा सुलतानपुर के रहने वाले इस युवक की पहचान अमित मौर्या के रूप में हुई है. इसके परिवार का अपने चाचा रामउजागिर मौर्या से जमीन का विवाद चल रहा था, जो सिटी मजिस्ट्रेट के यहां विचाराधीन था. मृतक अमित मौर्या का मानना था कि उसके चाचा ने बेईमानी से उसकी और संपत्ति हथिया ली है. इसकी शिकायत जब उसने देवकाली चौकी और नगर कोतवाली में की तो उसको प्रताड़ित किया गया और उसकी चाचा की मदद की गई. इसके पीछे वह भ्रष्टाचार को जिम्मेदार ठहराता है. इसी को लेकर वह काफी दिनों से परेशान था और आखिरकार आज सवेरे लगभग 6:30 बजे रेलवे ट्रैक पर गया और वहीं खड़े होकर पहले अपना अंतिम बयान रिकॉर्ड किया और उसे वायरल किया. इसी के बाद वह कुछ देर बाद आई ट्रेन के सामने कूदकर अपनी जान दे दी. 


वहीं, मृतक के परिजन कहते हैं कि, प्रधानमंत्री आवास पास हो गया था, वही बनवा रहे थे. इसी बीच पड़ोसी चाचा ने उनकी बाउंड्री लैट्रिन और नल तोड़ दिया जिसकी शिकायत के बाद अयोध्या कोतवाली प्रभारी को मौके पर जाकर जांच करने को कहा गया था. लेकिन वह नहीं आए इसी बीच देव काली चौकी का सिपाही हेमंत आया और काम रुकवा दिया, बाद में देव काली चौकी पर उन लोगों से पैसा मांगा गया और इसके लिए देवकाली चौकी बुलाया गया जबकि कोतवाल ने न तो कागज देखा और न ही उनकी कोई बात ही सुनी नहीं तो यह घटना न होती. 


एसएसपी ने दिये जांच के आदेश


युवक की मौत के कुछ देर बाद ही जब उसकी मौत के पहले का वीडियो वायरल हुआ तो हड़कंप मच गया आनन-फानन में अयोध्या के एसएसपी शैलेश कुमार पांडे ने इस पूरे मामले की जांच एएसपी स्तर के अधिकारी को सौंप दी है और कहा है कि, जांच के बाद रिपोर्ट के आधार पर आगे कार्रवाई की जाएगी. 


एसएसपी ने जानकारी देते हुये कहा कि, आरोप के संबंध में प्रथम दृष्टया जो अभी जानकारी मिली है, उसमें यह पता चला है कि दोनों पक्षों के बीच जमीन का विवाद था, जो कि नगर मजिस्ट्रेट के न्यायालय में विचाराधीन भी था. साथ ही साथ दोनों के विवाद को देखते हुए दोनों पक्षों पर पाबंद करने की कार्रवाई भी हुई थी. इसमें डिटेल एक जांच मेरी तरफ से एएसपी से कराई जा रही है, जांच में जो तथ्य सामने आएंगे उसके अनुरूप आगे की कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी.


ये भी पढ़ें.


कोरोना की तीसरी लहर को लेकर आयुष विभाग ने की तैयारी, कवच एप से जुड़ेगा ये खास फीचर