Maulana Shahabuddin Razvi: महाकुंभ में साधु-संतों द्वारा सनातन बोर्ड और वक्फ बोर्ड को लेकर बोर्ड लगाया गया जिस पर बरेली के मौलाना शहाबुद्दीन रिजवी की तीखी प्रतिक्रया सामने आई हैं. उन्होंने कहा कि मैं मेले में तमाम साधु संतों और अखाड़ों से कहना चाहता हूं कि वो मेहरबानी करके वक्फ के मामलों से दूर रहें. उन्होंने कहा कि वक्फ संशोधन बिल का मामला मुसलमानों और हुकूमत के बीच है. हम अपनी बात को सरकार के सामने रख रहे हैं. 


मौलाना शहाबुद्दीन ने वीडियो जारी कर कहा कि महाकुंभ में साधु संतों ने वक्फ के बारे में जो बोर्ड लगाया है कि मैं उन सभी साधु-संत, बाबा और जितने भी अखाड़े हैं उनसे अपील करूंगा कि वो मेहरबानी करके वक्फ के मामलों से दूर रहें. इस मामले को सरकार और मुसलमानों के बीच ही रहने दें. इस मामले को वक्फ की संपत्ति, बोर्ड या संशोधन बिल को हिन्दू मुसलमान बनाने की कोशिश न करें. ये मामला मुसलमानों और हुकूमत के बीच है तो इसे यहीं रहने दीजिए, हम अपने मसलों को सरकार के सामने प्रमुखता के साथ रख रहे हैं और रखते रहेंगे. 


वक्फ को हिन्दू मुस्लिम का मुद्दा न बनाएं
मौलाना ने कहा कि इस मामले को महाकुंभ में साधु-संत हिन्दू मुस्लिम न बनाएं. जहां तक रही सनातन बोर्ड की तो इस मामले में भारत का मुसलमान आपके साथ खड़ा हो सकता है तो सनातन बोर्ड के गठन में आप मुसलमानों का सम्मान ले सकते हैं. आप सनातन बोर्ड की जोर-शोर से मांग करिए हम उसका समर्थन करते हैं. लेकिन, मेहरबानी करके वक्फ की जमीनों को या वक्फ बोर्ड को हिन्दू मुस्लिम बनाने की कोशिश न करें.


दरअसल महाकुंभ में जगदगुरू रामानंदाचार्य ने होर्डिंग लगवाएं हैं जिस पर लिखा है कि वक्फ के नाम पर संपत्ति की लूट है, धर्म निरपेक्ष देश में ये कैसी छूट है, इसके अलावा उन्होंने डरेंगे तो मारेंगे जैसे होर्डिंग भी लगवाए थे. जो काफी विवादों में आ गया था. मौलाना शहाबुद्दीन ने कहा कि महाकुंभ हिन्दू धर्म का पवित्र मेला है. इसे हिन्दू मुस्लिम का अखाड़ा न बनाएं. 


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